आगरा के कमला नगर स्थित मणप्पुरम गोल्ड लोन कंपनी में साढ़े नौ करोड़ की डकैती डालने वाले बदमाशों ने इसकी योजना कई दिन पहले तैयार कर ली थी। यही नहीं 20 दिन तक शहर में रहकर रेकी की। इस दौरान लूट करने के बाद भागने के रास्ते आदि का भी रिहर्सल कर लिया था। हालांकि शनिवार दोपहर को हुई डकैती की घटना के बाद सक्रिय हुई पुलिस ने एत्मादपुर तक इनकी घेराबंदी की। इस दौरान हुई मुठभेड़ में दो बदमाशों को मार गिराया।
डकैती कांड के दो दिन बीत चुके हैं। अब तक पुलिस अन्य बदमाशों का कोई सुराग नहीं लगा सकी है। जबकि फरार बदमाशों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस की छह टीमें लगाई गई हैं। 100 से ज्यादा सीसीटीवी कैमरों के फुटेज खंगाल चुकी है। पुलिस के अफसरों का दावा है कि बदमाशों की गिरफ्तारी के लिए दबिश दी जा रही है। बदमाशों को जल्द पकड़ लिया जाएगा।
कमला नगर स्थित मणप्पुरम गोल्ड लोन कंपनी में डकैती डालने से 20 दिन पहले से बदमाशों ने वारदात की रिहर्सल करना शुरू कर दिया था। भागने के रास्ते व माल के बंटवारे का स्थान तय कर रखा था। पुलिस की छानबीन में यह सामने आया है। एसएसपी मुनिराज जी ने बताया कि सरगना फिरोजाबाद का हिस्ट्रीशीटर नरेंद्र उर्फ लाला उर्फ अनिल है। मुठभेड़ में मारे गए मनीष ने वारदात की योजना बनाई थी।
नरेंद्र उर्फ लाला 20 दिन से आगरा में था। बदमाश सबसे पहले 28 जून को रेकी करके गए थे। वारदात के बाद पुलिस को चकमा देकर शहर से किस रास्ते से बाहर निकलना है? माल के बंटवारे का स्थान क्या होगा? कितना माल कौन रखेगा? यह सब पहले से तय कर लिया था। कंपनी के ऑफिस में आकर रिहर्सल भी करते रहे। बाईपास के रास्तों को चेक किया था। यह पहले से तय कर रखा था कि अलग-अलग रास्तों से जाएंगे।
एसएसपी ने बताया कि बदमाशों के पास से कोई बाइक नहीं मिली है। सीसीटीवी कैमरों के फुटेज से यही पता चला कि बदमाश कमला नगर में अलग-अलग हो गए। सर्विस रोड पर आकर ऑटो पकड़कर रामबाग चौराहे पर पहुंचे। यहां से फिर से एत्मादपुर के लिए डग्गामार वाहन में बैठ गए। एत्मादपुर में एक स्थान पर माल का बंटवारा कर लिया। नरेंद्र, अंशू सोलंकी और प्रभात शर्मा फिरोजाबाद की तरफ चले गए, जबकि मनीष और निर्दोष कुमार खंदौली रोड पर मेडिकल स्टोर से दवा लेने के लिए रुके थे।
पुलिस ने दूसरे दिन भी खंगाले सीसीटीवी कैमरों के फुटेज
कमला नगर में डकैती की घटना के दूसरे दिन रविवार को भी सीसीटीवी कैमरों के फुटेज चेक किए। आसपास के लोगों से पूछताछ की। उधर, एत्मादपुर से बरामद सोने को थाने के मालखाने में रखा गया है। इसकी पहचान भी कराई गई। इसके लिए शाखा के कर्मचारियों को बुलाया गया था। उन्होंने माल अपना ही बताया।