वाराणसी के रमरेपुर में दो मासूम बच्चों के साथ आग लगा कर जान देने वाली विवाहिता सोनी विश्वकर्मा (28) की आत्महत्या की अहम वजह पति के अवैध संबंध और ससुराल में दहेज के लिए प्रताड़ित किया जाना था। पुलिस ने सोनी के घर से उसका तीन पन्ने का सुसाइड नोट बरामद किया है, जिसमें उसने पति, उसकी महिला मित्र, सास और ननद को आत्महत्या का कसूरवार ठहराया है। आगे की स्लाइड्स में देखें..
दो बच्चों के साथ आग लगा कर सोनी के जान देने की घटना मंगलवार की सुबह रमरेपुर क्षेत्र में सार्वजनिक हुई तो इलाके के लोग सन्न रह गए। विवाहिता के आत्मघाती कदम की इलाके की चाय-पान की दुकानों पर खासी चर्चा रही। लोगों का कहना था कि भला दोनों मासूम बच्चों ने किसी का क्या बिगाड़ा था। परिवार ने समझदारी दिखाई होती तो ऐसी नौबत नहीं आती।
सुसाइड नोट में लिखा है कि मेरे और दोनों बच्चों के शव को ससुराल वाले हाथ भी न लगाएं। सोनी के भाई प्रहलाद की तहरीर पर कैंट थाने में मुकदमा दर्ज कर पुलिस ने सास शैला देवी और ननद आशा को गिरफ्तार कर मंगलवार को जेल भेज दिया। आरोपी पति सूरज के हैदराबाद से घर आने का पुलिस इंतजार कर रही है।
हैदराबाद में फर्नीचर का काम करने वाले सूरज की पत्नी सोनी रमरेपुर स्थित घर में सोमवार की आधी रात बाद अपने चार साल के बेटे डुग्गू और तीन साल की बेटी सगुन पर मिट्टी का तेल छिड़क कर आग लगा ली थी। पुलिस पहुंची तो सोनी और उसके दोनों बच्चों की मौत हो गई थी। कैंट पुलिस की सूचना पर पहड़िया स्थित सोनी के मायके से उसका भाई प्रहलाद आया।
प्रहलाद ने पुलिस को बताया कि सूरज से सोनी का विवाह वर्ष 2014 में हुआ था। शादी के कुछ समय बाद ही दहेज प्रताड़ना से लेकर सोनी परेशान रहती थी। वहीं, उसके पति सूरज के दो महिलाओं से अवैध संबंध थे, इसे लेकर जब भी सोनी विरोध करती तो उसे मारापीटा जाता था। सोमवार की देर रात उसने पति को कॉल कर बात की और इसके बाद खुद व दोनों बच्चों पर मिट्टी का तेल उड़ेल कर आग लगा ली।