रेलवे भर्ती में अनियमितता को लेकर प्रदर्शन के दौरान हुए बवाल का मामला थमता नजर नहीं आ रहा है। लॉज में घुसकर छात्रों पर किए गए लाठीचार्ज को लेकर आक्रोश बरकरार है। इसकेविरोध में इलाहाबाद विश्वविद्यालय समेत कई जगहों पर विरोध प्रदर्शन हुए।
इसके साथ ही पुलिसिया कार्रवाई के बाद से बघाड़ा में सन्नाटा पसरा हुआ है और दहशत के चलते कई छात्र कमरों में ताला लगाकर चले गए हैं। उधर पथराव मामले में पुलिस ने तीन छात्रनेताओं को गिरफ्तार कर लिया है। इनमें राकेश सचान, कुशीनगर का मुकेश यादव और रायबरेली का प्रदीप यादव शामिल हैं।
तीनों पुलिस की ओर से दर्ज किए गए केस में नामजद किए गए थे। साथ ही 1500 अज्ञात के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की गई थी। उधर घटना के बाद से छात्रों में आक्रोश के साथ ही दहशत भी बरकरार है। छात्रों पर हुए लाठीचार्ज के विरोध में इलाहाबाद विश्वविद्यालय के अलावा सिविल लाइंस समेत कई स्थानों पर विरोध प्रदर्शन हुआ।
छात्र संगठनों ने पुलिसिया कार्रवाई की निंदा की और दोषियों पर कार्रवाई के साथ ही मामले की उच्चस्तरीय जांच की भी मांग की। उधर मामले की गंभीरता को देखते हुए तीसरे दिन भी इलाके में भारी फोर्स तैनात रही। आला पुलिस अफसर खुद लगातार गश्त करते रहे, साथ ही छात्रों से बातचीत कर उन्हें समझाते रहे।
जांच पड़ताल में यह बात सामने आई है कि नामजद आरोपी राकेश ने ही छात्रों को ट्रैक जाम व पथराव के लिए उकसाया था। कुल 13 धाराओं में आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। मामले में साजिशन बवाल कराने का भी इनपुट मिला है। जिसकी जांच के लिए 11 सदस्यीय कमेटी गठित की गई है। जांच में यह बात सामने आती है तो चुनाव आयोग को रिपोर्ट भेजी जाएगी। - अजय कुमार, एसएसपी
इंस्पेक्टर-दरोगा समेत छह सस्पेंड
लॉज में घुसकर छात्रों पर लाठीचार्ज किए जाने के मामले में बड़ी कार्रवाई हुई। वीडियो फुटेज के आधार पर एसएसपी ने इंस्पेक्टर व दो दरोगाओं समेत छह पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया। साथ ही उनके खिलाफ विभागीय जांच के भी आदेश दे दिए हैं।
एसएसपी पहुंचे छात्रों के बीच, कहा- बहकावे में न आएं
उधर, घटना के बाद एसएसपी अजय कुमार छात्रों के बीच बघाड़ा पहुंचे। छात्रों को संबोधित करते हुए उन्होेंने कहा कि वह किसी के बहकावे में न आएं। जो छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ा करे, वह छात्रनेता नहीं बल्कि छद्म नेता हैं।
डिलीट व्हाट्सएप चैट रिकवरी को लैब भेजेंगे मोबाइल
पुलिस का कहना है कि कर्नलगंज बवाल मामले में गिरफ्तार राजेश सचान के मोबाइल से व्हाट्सएप चैट डिलीट मिले हैं। इनकी रिकवरी के लिए उसका मोबाइल फोरेंसिक लैब भेजा जाएगा।
दरअसल पुलिस अफसरों का कहना है कि प्रारंभिक जांच पड़ताल में यह बात सामने आई है कि राजेश ने ही पथराव और रेलवे ट्रैक जाम करने के लिए छात्रों को उकसाया था। फिलहाल उसने पूछताछ में अफसरों को यही बताया है कि वह छात्रहित के लिए संघर्ष कर रहा है। राजेश मूलरूप से हमीरपुर का रहने वाला है। 2002 में इविवि से एमए करने वाला राजेश पहले भी जेल जा चुका है।
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रेलवे भर्ती में अनियमितता को लेकर प्रदर्शन के दौरान हुए बवाल का मामला थमता नजर नहीं आ रहा है। लॉज में घुसकर छात्रों पर किए गए लाठीचार्ज को लेकर आक्रोश बरकरार है। इसकेविरोध में इलाहाबाद विश्वविद्यालय समेत कई जगहों पर विरोध प्रदर्शन हुए।
इसके साथ ही पुलिसिया कार्रवाई के बाद से बघाड़ा में सन्नाटा पसरा हुआ है और दहशत के चलते कई छात्र कमरों में ताला लगाकर चले गए हैं। उधर पथराव मामले में पुलिस ने तीन छात्रनेताओं को गिरफ्तार कर लिया है। इनमें राकेश सचान, कुशीनगर का मुकेश यादव और रायबरेली का प्रदीप यादव शामिल हैं।
तीनों पुलिस की ओर से दर्ज किए गए केस में नामजद किए गए थे। साथ ही 1500 अज्ञात के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की गई थी। उधर घटना के बाद से छात्रों में आक्रोश के साथ ही दहशत भी बरकरार है। छात्रों पर हुए लाठीचार्ज के विरोध में इलाहाबाद विश्वविद्यालय के अलावा सिविल लाइंस समेत कई स्थानों पर विरोध प्रदर्शन हुआ।
छात्र संगठनों ने पुलिसिया कार्रवाई की निंदा की और दोषियों पर कार्रवाई के साथ ही मामले की उच्चस्तरीय जांच की भी मांग की। उधर मामले की गंभीरता को देखते हुए तीसरे दिन भी इलाके में भारी फोर्स तैनात रही। आला पुलिस अफसर खुद लगातार गश्त करते रहे, साथ ही छात्रों से बातचीत कर उन्हें समझाते रहे।
जांच पड़ताल में यह बात सामने आई है कि नामजद आरोपी राकेश ने ही छात्रों को ट्रैक जाम व पथराव के लिए उकसाया था। कुल 13 धाराओं में आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। मामले में साजिशन बवाल कराने का भी इनपुट मिला है। जिसकी जांच के लिए 11 सदस्यीय कमेटी गठित की गई है। जांच में यह बात सामने आती है तो चुनाव आयोग को रिपोर्ट भेजी जाएगी।
- अजय कुमार, एसएसपी