चंडीगढ़। जीएमसीएच-32 में बी ब्लॉक ओपीडी और डी ब्लॉक की एक्सरे मशीन कई दिनों से खराब पड़ी है, जिससे मरीजों को इधर-उधर चक्कर काटना पड़ रहा है। महज 25 रुपये की जांच के लिए मरीजों को निजी डायग्नोस्टिक सेंटर में 250 से 300 रुपये खर्च करने पड़ रहे हैं। स्थिति यह है कि सरकारी दर पर जांच कराने के लिए अस्पताल की ओपीडी से लेकर इमरजेंसी तक मरीजों की लंबी कतार है। अस्पताल प्रशासन का कहना है कि पुरानी मशीन कंडम हो जाने से जांच बाधित हो रही है। नई मशीन लगाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।बी और डी ब्लॉक में जांच ठप
बी ब्लॉक स्थित ओपीडी की एक्स-रे मशीन के साथ ब्लॉक डी स्थित विशेष यूनिट की मशीन भी खराब हो गई है। इससे मरीजों का दबाव ए ब्लॉक स्थित इमरजेंसी में लगाई गई एक्स-रे मशीन पर आ गया है। ऐसे में सुबह ओपीडी शुरू होने से लेकर शाम 4 बजे तक वहां मरीजों की लंबी कतार नजर आ रही है जिससे रेफर होकर आने वाले मरीजों को एक्सरे की सुविधा तत्काल उपलब्ध कराने में काफी परेशानी झेलनी पड़ रही है।
मरीजों की कौन सुनेगा
कई दिनों से लगातार खांसी आ रही है। जीएमसीएच 32 में दिखाने आया तो डॉक्टर ने एक्सरे लिख दिया। जांच कराने पहुंचा तो पता चला कि मशीन खराब है। 300 रुपये खर्च कर बाहर से एक्स-रे से करवाना पड़ा है।
-रोहित शर्मा, सेक्टर 45
सरकारी अस्पताल सिर्फ कहने के लिए होते हैं। कभी डॉक्टर उपलब्ध नहीं होते तो कभी मशीनें। जीएमसीएच 32 में एक्सरे मशीन खराब है लेकिन अस्पताल प्रशासन को इससे कोई मतलब नहीं है। मरीज निजी सेंटरों में जाकर पैसे खर्च करने को मजबूर हैं।
-आशा कुमारी, लुधियाना
ओपीडी की एक्स-रे मशीन कंडम हो गई है। उसकी जगह पर नई मशीन लगाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। जल्दी मरीजों को नहीं मशीन की सुविधा प्राप्त होने लगेगी। -डॉ. सुधीर गर्ग, चिकित्सा अधीक्षक