गोरखपुर के डीएम के. विजयेंद्र पांडियन के निर्देश पर जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग की संयुक्त टीम ने छापा मारकर लिंग परीक्षण करने के आरोप में न्यू यश पाली क्लीनिक, चौरीचौरा को सील कर दिया है। स्वास्थ्य विभाग की ओर से डॉक्टर के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के लिए चौरीचौरा थाने में तहरीर दी गई है। जांच टीम के मुताबिक मुखबिर योजना के तहत यूपी में पहली कार्रवाई हुई है।
जानकारी के मुताबिक, मुखबिर योजना के तहत एक गर्भवती महिला को न्यू यश पाली क्लीनिक पर भेजा गया। महिला को पांच-पांच सौ रुपये के 12 नोट (छह हजार रुपये) भी दिए गए। जांच टीम के अनुसार, गर्भवती रुपये लेकर महिला डॉक्टर प्रतिमा मिश्रा के पास गई। डॉक्टर से बातचीत की और गर्भावस्था की जांच के लिए पैसे भी दे दिए।
कुछ देर बाद ही छापा मारने वाली टीम डॉक्टर प्रतिमा मिश्रा के पास पहुंच गई। छानबीन की गई तो वही 500-500 रुपये के 12 नोट बरामद किए गए, जो कि गर्भवती को दिए गए थे। जांच टीम ने अल्ट्रासउंड मशीन को मौके से कब्जे में ले लिया और क्लीनिक को सील कर दिया गया। इस सिलसिले में डॉक्टर प्रतिमा मिश्रा का पक्ष नहीं मिल सका है। पक्ष मिलते ही प्रकाशित किया जाएगा।
क्या है मुखबिर योजना
एडिशनल सीएमओ डॉ. नीरज कुमार पांडेय ने बताया कि लिंग परीक्षण करने वाले डॉक्टर या अल्ट्रासाउंड संचालकों के खिलाफ मुखबिर योजना पहले से है। इस योजना में शामिल गर्भवती महिला को एक लाख और महिला के साथ जाने वाले अटेंडेंट को 60 हजार रुपये का इनाम दिया जाता है। इसके अलावा लिंग परीक्षण की सटीक सूचना देने वाले को 40 हजार रुपये दिया जाता है। जिस गर्भवती महिला की मदद से चौरीचौरा में पाली क्लीनिक को सील किया गया है उसे एक लाख रुपये का इनाम भी मिलेगा।
सीएमओ डॉ. सुधाकर पांडेय ने बताया कि लिंग परीक्षण करने वाले जितने भी अल्ट्रासाउंड सेंटर या क्लीनिक हैं। इन सभी के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा। औचक चेकिंग करके इनकी धरपकड़ की जाएगी।
विस्तार
गोरखपुर के डीएम के. विजयेंद्र पांडियन के निर्देश पर जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग की संयुक्त टीम ने छापा मारकर लिंग परीक्षण करने के आरोप में न्यू यश पाली क्लीनिक, चौरीचौरा को सील कर दिया है। स्वास्थ्य विभाग की ओर से डॉक्टर के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के लिए चौरीचौरा थाने में तहरीर दी गई है। जांच टीम के मुताबिक मुखबिर योजना के तहत यूपी में पहली कार्रवाई हुई है।
जानकारी के मुताबिक, मुखबिर योजना के तहत एक गर्भवती महिला को न्यू यश पाली क्लीनिक पर भेजा गया। महिला को पांच-पांच सौ रुपये के 12 नोट (छह हजार रुपये) भी दिए गए। जांच टीम के अनुसार, गर्भवती रुपये लेकर महिला डॉक्टर प्रतिमा मिश्रा के पास गई। डॉक्टर से बातचीत की और गर्भावस्था की जांच के लिए पैसे भी दे दिए।
कुछ देर बाद ही छापा मारने वाली टीम डॉक्टर प्रतिमा मिश्रा के पास पहुंच गई। छानबीन की गई तो वही 500-500 रुपये के 12 नोट बरामद किए गए, जो कि गर्भवती को दिए गए थे। जांच टीम ने अल्ट्रासउंड मशीन को मौके से कब्जे में ले लिया और क्लीनिक को सील कर दिया गया। इस सिलसिले में डॉक्टर प्रतिमा मिश्रा का पक्ष नहीं मिल सका है। पक्ष मिलते ही प्रकाशित किया जाएगा।
क्या है मुखबिर योजना
एडिशनल सीएमओ डॉ. नीरज कुमार पांडेय ने बताया कि लिंग परीक्षण करने वाले डॉक्टर या अल्ट्रासाउंड संचालकों के खिलाफ मुखबिर योजना पहले से है। इस योजना में शामिल गर्भवती महिला को एक लाख और महिला के साथ जाने वाले अटेंडेंट को 60 हजार रुपये का इनाम दिया जाता है। इसके अलावा लिंग परीक्षण की सटीक सूचना देने वाले को 40 हजार रुपये दिया जाता है। जिस गर्भवती महिला की मदद से चौरीचौरा में पाली क्लीनिक को सील किया गया है उसे एक लाख रुपये का इनाम भी मिलेगा।
सीएमओ डॉ. सुधाकर पांडेय ने बताया कि लिंग परीक्षण करने वाले जितने भी अल्ट्रासाउंड सेंटर या क्लीनिक हैं। इन सभी के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा। औचक चेकिंग करके इनकी धरपकड़ की जाएगी।