मोहाली। पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड की मुलाजिम एसोसिएशन भी अब खुलकर बोर्ड मैनेजमेंट के विरोध में आ गई है। मुलाजिम यूनियन ने अपनी कई मांगें मैनेजमेंट के सामने रखी हैं। साथ ही शिक्षामंत्री द्वारा पीएसईबी के कामगाज की जांच कराने की गई सिफारिश की हिमायत की है। एसोसिएशन ने बोर्ड मैनेजमेंट को चेतावनी दी है कि दस दिन में उनकी मांगें नहीं मानी गईं, तो मुलाजिम संघर्ष शुरू कर देंगे।
मंगलवार को मुलाजिम एसोसिएशन की एक महत्वपूर्ण मीटिंग हुई। मीटिंग में प्रधान परविंदर सिंह खंगूड़ा और महासचिव भगवंत सिंह बेदी ने कहा कि बोर्ड द्वारा सेमेस्टर सिस्टम लागू किया गया है। इसके बार कोड लगाने में समस्या आ रही है। जिसे जल्दी से जल्दी बंद कर देना चाहिए। एसोसिएशन के मेंबर परमजीत सिंह पम्मा, अमर सिंह धालीवाल व जरनैल सिंह चुन्नी ने बताया कि सेमेस्टर सिस्टम बोर्ड और विद्यार्थी दोनों के हित में नहीं है। इसके चलते सेमेस्टर सिस्टम को तुरंत बंद कर दिया जाना चाहिए। इसके अलावा बोर्ड की आटोनोमस बॉडी का दर्जा बहाल करना, 57 दर्जा चार मुलाजिमों का पक्का करके क्लर्क बनाने की मांग गई। मीटिंग में यह भी बात हुई उठी कि पिछले समय में भरती किए गए अध्यापकों, लेक्चरर्स, ऑडिटरों आदि को कई महीनों से वेतन नहीं मिला है, जिसे तुरंत दिया जाना चाहिए। यूनियन के प्रेस सचिव श्रृंगारा सिंह ने कहा कि बोर्ड में मुलाजिमों के कई पद खाली हैं। जिससे बोर्ड का काम प्रभावित हो रहा है। इसलिए इन्हें तुरंत भरा जाए। गौरतलब है बोर्ड में चार हजार के करीब मुलाजिम काम करते हैं। जो कि बोर्ड मैनेजमेंट से एसोसिएशन के माध्यम से ही बात करते है। ऐसे में बोर्ड के एसोएिशन का काफी महत्वपूर्ण रोल है।
मोहाली। पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड की मुलाजिम एसोसिएशन भी अब खुलकर बोर्ड मैनेजमेंट के विरोध में आ गई है। मुलाजिम यूनियन ने अपनी कई मांगें मैनेजमेंट के सामने रखी हैं। साथ ही शिक्षामंत्री द्वारा पीएसईबी के कामगाज की जांच कराने की गई सिफारिश की हिमायत की है। एसोसिएशन ने बोर्ड मैनेजमेंट को चेतावनी दी है कि दस दिन में उनकी मांगें नहीं मानी गईं, तो मुलाजिम संघर्ष शुरू कर देंगे।
मंगलवार को मुलाजिम एसोसिएशन की एक महत्वपूर्ण मीटिंग हुई। मीटिंग में प्रधान परविंदर सिंह खंगूड़ा और महासचिव भगवंत सिंह बेदी ने कहा कि बोर्ड द्वारा सेमेस्टर सिस्टम लागू किया गया है। इसके बार कोड लगाने में समस्या आ रही है। जिसे जल्दी से जल्दी बंद कर देना चाहिए। एसोसिएशन के मेंबर परमजीत सिंह पम्मा, अमर सिंह धालीवाल व जरनैल सिंह चुन्नी ने बताया कि सेमेस्टर सिस्टम बोर्ड और विद्यार्थी दोनों के हित में नहीं है। इसके चलते सेमेस्टर सिस्टम को तुरंत बंद कर दिया जाना चाहिए। इसके अलावा बोर्ड की आटोनोमस बॉडी का दर्जा बहाल करना, 57 दर्जा चार मुलाजिमों का पक्का करके क्लर्क बनाने की मांग गई। मीटिंग में यह भी बात हुई उठी कि पिछले समय में भरती किए गए अध्यापकों, लेक्चरर्स, ऑडिटरों आदि को कई महीनों से वेतन नहीं मिला है, जिसे तुरंत दिया जाना चाहिए। यूनियन के प्रेस सचिव श्रृंगारा सिंह ने कहा कि बोर्ड में मुलाजिमों के कई पद खाली हैं। जिससे बोर्ड का काम प्रभावित हो रहा है। इसलिए इन्हें तुरंत भरा जाए। गौरतलब है बोर्ड में चार हजार के करीब मुलाजिम काम करते हैं। जो कि बोर्ड मैनेजमेंट से एसोसिएशन के माध्यम से ही बात करते है। ऐसे में बोर्ड के एसोएिशन का काफी महत्वपूर्ण रोल है।