पंचकूला में एजेएल प्लॉट आवंटन घोटाले के मामले में पेशी पर पहुंचे हरियाणा के पूर्व सीएम आरोपी भूप?
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पंचकूला। एजेएल प्लॉट आवंटन घोटाले के मामले में बुधवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की विशेष कोर्ट में सुनवाई हुई। मामले के मुख्य आरोपी हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा समेत एजेएल हाउस के चेयरमैन मोती लाल वोरा कोर्ट में पेशी पर पहुंचे। ईडी की विशेष कोर्ट में बचाव पक्ष की रेगुलर बेल याचिका पर प्रवर्तन निदेशालय ने जवाब दायर किया। इसके बाद कोर्ट ने बचाव पक्ष की याचिका पर फैसला सुनाते हुए आरोपियों को जमानत प्रदान की। कोर्ट ने मामले की आगामी सुनवाई 10 दिसंबर को तय की है।
इससे पहले आरोपियों को कोर्ट ने पांच-पांच लाख रुपये के बेल बांड पर अंतरिम जमानत दी थी। 26 अगस्त को ईडी ने आरोपी हुड्डा और वोरा के खिलाफ अभियोजन की शिकायत दाखिल की थी। हुड्डा पर आरोप हैं कि उन्होंने 64.93 करोड़ रुपये का प्लॉट एजेएल को 69.39 लाख रुपये में दे दिया था। प्रवर्तन निदेशालय पंचकूला में एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) को एक भूखंड आवंटन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आरोपी भूपेंद्र सिंह हुड्डा से पूछताछ भी कर चुका है। यह भूखंड पंचकूला के सेक्टर 6 का सी-17 है, जो एजेएल को आवंटित किया गया था। ईडी ने इसे कुर्क भी किया था।
एजेएल ग्रुप नेशनल हेराल्ड अखबार निकालता था। ईडी की जांच में पता लगा था कि हुड्डा ने हरियाणा के मुख्यमंत्री रहने के दौरान आधिकारिक पद का दुरुपयोग कर यह भूखंड एजेएल को 1982 की दर (91 रुपये प्रति वर्ग मीटर) और ब्याज सहित फर्जी तरीके से पुुन: आवंटित किया था। वर्ष 2005 में इसे पुन: आवंटित कर एजेएल को अनुचित फायदा पहुंचाने के आरोप हैं। आरोपी हुड्डा पर सीबीआई की विशेष अदालत में भी मानेसर जमीन घोटाले सहित एजेएल प्लॉट आवंटन मामले में आरोप तय करने पर बहस जारी है।
पंचकूला। एजेएल प्लॉट आवंटन घोटाले के मामले में बुधवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की विशेष कोर्ट में सुनवाई हुई। मामले के मुख्य आरोपी हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा समेत एजेएल हाउस के चेयरमैन मोती लाल वोरा कोर्ट में पेशी पर पहुंचे। ईडी की विशेष कोर्ट में बचाव पक्ष की रेगुलर बेल याचिका पर प्रवर्तन निदेशालय ने जवाब दायर किया। इसके बाद कोर्ट ने बचाव पक्ष की याचिका पर फैसला सुनाते हुए आरोपियों को जमानत प्रदान की। कोर्ट ने मामले की आगामी सुनवाई 10 दिसंबर को तय की है।
इससे पहले आरोपियों को कोर्ट ने पांच-पांच लाख रुपये के बेल बांड पर अंतरिम जमानत दी थी। 26 अगस्त को ईडी ने आरोपी हुड्डा और वोरा के खिलाफ अभियोजन की शिकायत दाखिल की थी। हुड्डा पर आरोप हैं कि उन्होंने 64.93 करोड़ रुपये का प्लॉट एजेएल को 69.39 लाख रुपये में दे दिया था। प्रवर्तन निदेशालय पंचकूला में एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) को एक भूखंड आवंटन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आरोपी भूपेंद्र सिंह हुड्डा से पूछताछ भी कर चुका है। यह भूखंड पंचकूला के सेक्टर 6 का सी-17 है, जो एजेएल को आवंटित किया गया था। ईडी ने इसे कुर्क भी किया था।
एजेएल ग्रुप नेशनल हेराल्ड अखबार निकालता था। ईडी की जांच में पता लगा था कि हुड्डा ने हरियाणा के मुख्यमंत्री रहने के दौरान आधिकारिक पद का दुरुपयोग कर यह भूखंड एजेएल को 1982 की दर (91 रुपये प्रति वर्ग मीटर) और ब्याज सहित फर्जी तरीके से पुुन: आवंटित किया था। वर्ष 2005 में इसे पुन: आवंटित कर एजेएल को अनुचित फायदा पहुंचाने के आरोप हैं। आरोपी हुड्डा पर सीबीआई की विशेष अदालत में भी मानेसर जमीन घोटाले सहित एजेएल प्लॉट आवंटन मामले में आरोप तय करने पर बहस जारी है।