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Lata Mangeshkar: लता मंगेशकर को बचपन में देखे एक सपने का मां ने बताया था अर्थ, बाद में वही हो गया सच

एंटरटेनमेंट डेस्क, अमर उजाला Published by: साक्षी Updated Mon, 06 Feb 2023 09:35 AM IST
Lata Mangeshkar Death Anniversary know unknown facts about Bharat Ratna awarded singer struggle and her song
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स्वर कोकिला लता मंगेशकर की आज पहली पुण्यतिथि है। बीते साल आज ही के दिन यानी 6 फरवरी 2022 को लता दी ने इस दुनिया को अलविदा कह दिया था। वह कोरोना से संक्रमित थीं, जिसके बाद उन्हें मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। लता मंगेशकर को खोने के बाद भारत ने एक अनमोल रत्न खो दिया था। आज उनकी पुण्यतिथि के अवसर पर चलिए जानते हैं उनकी जिंदगी से जुड़ी कुछ खास बातें...
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विरासत में मिली संगीत की कला
लता मंगेशकर का जन्म 28 सितंबर 1929 को मध्य प्रदेश के इंदौर शहर में हुआ था। लता मंगेशकर के पिता दीनानाथ मंगेशकर मराठी थिएटर अभिनेता, निर्देशक थे। लता मंगेशकर को विरासत में संगीत की कला मिली थी। दरअसल, लता जी के पिता रंगमंच के कलाकार के साथ-साथ मशहूर गायक भी थे। लता मंगेशकर का नाम पहले हेमा था, लेकिन उनके जन्म के पांच साल बाद उनका नाम बदलकर लता रख दिया गया। लता मंगेशकर को गायकी से दुनिया भर में प्रसिद्धि मिली, लेकिन क्या आप जानते हैं कि बचपन में ही उन्हें पता चल चुका था कि आगे जाकर वह करोड़ों लोगों के दिल पर राज करेंगी।
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रोज देखती थीं एक सपना
लता मंगेशकर जब 20 साल की थीं, तब वह दिन में छह से आठ गाने रिकॉर्ड किया करती थीं। पूरे दिन गाने रिकॉर्ड करने के बाद जब वह थक हार कर अपने कमरे में सोने के लिए जाती थीं तो रोज उन्हें एक सपना आता था। लगातार इस सपने के आने से लता मंगेशकर विचलित हो जाती थीं, जिसके बाद उन्होंने अपने इस सपने का जिक्र अपनी मां से किया। उन्होंने अपनी मां को बताया कि उन्हें सपने में दिखता है कि सुबह के समय वह समुद्र के पास काले पत्थर के पास बने मंदिर में अकेली खड़ी हैं और उन्हें यह पता है कि वह मंदिर किस देवी का बना हुआ है।
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मां को बताया सपना
लता मंगेशकर ने अपने सपने के बारे में बताते हुए मां से कहा था कि वह मंदिर के पास जब पहुंचती थीं तो देखती थीं कि मंदिर के पीछे भी एक दरवाजा है। जब वह उस दरवाजे को खोलती थीं तो कुछ काले पत्थर की सीढ़ियां नीचे की तरफ जा रही थीं, जिसमें रंग बिरंगा पानी दिख रहा था। जब वह उन सीढ़ियों पर बैठ जाती थीं तो धीरे-धीरे वह रंग बिरंगा पानी उनके पैरों को छूने लगता था। अपनी मां को इस सपने के बारे में बताने के बाद उन्होंने इसका मतलब पूछा था।
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मां ने बताया सपने का मतलब
लता मंगेशकर के इस सपने का अर्थ बताते हुए उनकी मां ने जवाब दिया, 'लता यह भगवान का आशीर्वाद है। देखना एक दिन तुम बहुत मशहूर हो जाओगी।' बस फिर क्या था, इसके बाद लता मंगेशकर की मेहनत और उनके संघर्षों ने उन्हें इस मुकाम तक पहुंचा दिया था कि उनके द्वारा गाए हुए गाने फिल्म को हिट करने की गारंटी होती थी। लता मंगेशकर ने इसके बाद पीछे मुड़कर कभी नहीं देखा। बचपन में उनकी मां द्वारा बोली गई बात सच हुई। लता दी को साल 2001 में भारत के सर्वोच्च सम्मान 'भारत रत्न' से सम्मानित किया गया था। 
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