किसी भी ज्योतिष गणना में शनि ग्रह को बहुत ही प्रमुखता दी जाती है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार शनि को न्यायाधीष का दर्जा प्राप्त है। शनि व्यक्ति को उनके कर्म के आधार पर फल प्रदान करते हैं। शनि मकर और कुंभ राशि के स्वामी हैं। शनि तुला राशि में उच्च के और मेष राशि में नीच के हैं। शनि का राशि परिवर्तन, साढ़ेसाती, ढैय्या, वक्री और मार्गी होना व्यक्ति के जीवन पर काफी प्रभाव पड़ता है। शनि क्रूर ग्रह होने के साथ शुभ फल देने वाले ग्रह भी हैं। शनि के जातक की कुंडली में अच्छी स्थिति में होने पर यह व्यक्ति को रंक से राजा भी बना देते हैं।