जम्मू-कश्मीर के बारामूला में आतंकी हमले में शहीद हुए सेना के जवान मनीष विश्वकर्मा (22) के अंतिम दर्शन करने राजगढ़ जिले में उनके गृह नगर खुजनेर आए 11 लोग एक मंदिर की छत के गिरने से घायल हो गए। शहीद सैनिक मनीष का पार्थिव शरीर बुधवार दोपहर जम्मू कश्मीर से खुजनेर लाया गया था।
शहीद सैनिक मनीष का आज अंतिम संस्कार होना था। उनके अंतिम दर्शन के लिए उनके घर के पास स्थित पुराने मंदिर की छत पर अधिक लोग चढ़ गए। इसी दौरान मंदिर की छत टूट कर गिर गई जिससे 11 लोग घायल हो गए। गंभीर रूप से घायल एक व्यक्ति को उपचार के लिए शाजापुर भेजा गया है।
मुझे फक्र है मेरा पुत्र भारत मांं की सेवा करते-करते शहीद हो गया : सिद्धनाथ
आतंकी हमले में शहीद हुए सेना के जवान मनीष विश्वकर्मा के पिता सिद्धनाथ विश्वकर्मा ने बुधवार को कहा कि उन्हें गर्व है कि उनका एक पुत्र भारत माता की सेवा करते हुए शहीद हो गया। सिद्धनाथ ने कहा कि मेरे दो पुत्र हैं। दोनों सेना में हैं। मुझे गर्व है कि मेरा एक पुत्र भारत माता की सेवा करते हुए शहीद हो गया।
उन्होंने कहा कि एक सप्ताह पहले ही मनीष से बात हुई थी। उसने कहा था कि पापा मैं अब घर दशहरा बाद ही आ पाऊंगा। आप एक काम करना, आरती (शहीद सैनिक मनीष की पत्नी) को मायके से ले आना।
सिद्धनाथ ने बताया कि मनीष का विवाह 19 मई 2019 को आरती से हुआ था। इसी बीच, आरती के पिता मांगीलाल ने बताया कि जम्मू कश्मीर में नेटवर्क की समस्या होने के बाद भी कभी–कभी दामाद उनसे बात करते रहते थे। वह 6 माह पहले खुजनेर आए थे।
सीएम शिवराज ने किया एक करोड़ की सम्मान निधि देने का एलान
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मनीष विश्वकर्मा के परिवार को बुधवार को एक एक करोड़ रुपये की सम्मान निधि देने की घोषणा की है। साथ ही मुख्यमंत्री ने शहीद जवान के परिवार के एक सदस्य को शासकीय सेवा में नियुक्ति देने का एलान भी किया है। मुख्यमंत्री ने शहीद जवान के पार्थिव शरीर पर थ्री ईएमई सेंटर हॉस्पिटल परिसर भोपाल में बुधवार सुबह पुष्प चक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी।
इस दौरान चौहान ने कहा, शहीद परिवार को एक करोड़ रुपये की सम्मान निधि, परिवार के एक सदस्य को उनकी सहमति पर शासकीय सेवा में नियुक्ति, उनके पैतृक कस्बे खुजनेर में शहीद की प्रतिमा की स्थापना और किसी संस्था का नाम शहीद के नाम पर किया जाएगा।
उन्होंने कहा, देश की एकता एवं अखंडता की रक्षा करते हुए उन्होंने अपना सर्वोच्च बलिदान दिया है। खुजनेर के लोगों को उन पर गर्व है। मध्य प्रदेश को उन पर गर्व है। देश को उन पर गर्व है।
शहीद मनीष का पार्थिव शरीर जम्मू कश्मीर से मंगलवार रात भोपाल लाया गया और बुधवार सुबह यहां से राजगढ़ जिले के उनके पैतृक कस्बे खुजनेर ले जाया जा रहा है, जहां उनका पूरी राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।
जम्मू-कश्मीर के बारामूला में आतंकी हमले में शहीद हुए सेना के जवान मनीष विश्वकर्मा (22) के अंतिम दर्शन करने राजगढ़ जिले में उनके गृह नगर खुजनेर आए 11 लोग एक मंदिर की छत के गिरने से घायल हो गए। शहीद सैनिक मनीष का पार्थिव शरीर बुधवार दोपहर जम्मू कश्मीर से खुजनेर लाया गया था।
शहीद सैनिक मनीष का आज अंतिम संस्कार होना था। उनके अंतिम दर्शन के लिए उनके घर के पास स्थित पुराने मंदिर की छत पर अधिक लोग चढ़ गए। इसी दौरान मंदिर की छत टूट कर गिर गई जिससे 11 लोग घायल हो गए। गंभीर रूप से घायल एक व्यक्ति को उपचार के लिए शाजापुर भेजा गया है।
मुझे फक्र है मेरा पुत्र भारत मांं की सेवा करते-करते शहीद हो गया : सिद्धनाथ
आतंकी हमले में शहीद हुए सेना के जवान मनीष विश्वकर्मा के पिता सिद्धनाथ विश्वकर्मा ने बुधवार को कहा कि उन्हें गर्व है कि उनका एक पुत्र भारत माता की सेवा करते हुए शहीद हो गया। सिद्धनाथ ने कहा कि मेरे दो पुत्र हैं। दोनों सेना में हैं। मुझे गर्व है कि मेरा एक पुत्र भारत माता की सेवा करते हुए शहीद हो गया।
उन्होंने कहा कि एक सप्ताह पहले ही मनीष से बात हुई थी। उसने कहा था कि पापा मैं अब घर दशहरा बाद ही आ पाऊंगा। आप एक काम करना, आरती (शहीद सैनिक मनीष की पत्नी) को मायके से ले आना।
सिद्धनाथ ने बताया कि मनीष का विवाह 19 मई 2019 को आरती से हुआ था। इसी बीच, आरती के पिता मांगीलाल ने बताया कि जम्मू कश्मीर में नेटवर्क की समस्या होने के बाद भी कभी–कभी दामाद उनसे बात करते रहते थे। वह 6 माह पहले खुजनेर आए थे।
सीएम शिवराज ने किया एक करोड़ की सम्मान निधि देने का एलान
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मनीष विश्वकर्मा के परिवार को बुधवार को एक एक करोड़ रुपये की सम्मान निधि देने की घोषणा की है। साथ ही मुख्यमंत्री ने शहीद जवान के परिवार के एक सदस्य को शासकीय सेवा में नियुक्ति देने का एलान भी किया है। मुख्यमंत्री ने शहीद जवान के पार्थिव शरीर पर थ्री ईएमई सेंटर हॉस्पिटल परिसर भोपाल में बुधवार सुबह पुष्प चक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी।
इस दौरान चौहान ने कहा, शहीद परिवार को एक करोड़ रुपये की सम्मान निधि, परिवार के एक सदस्य को उनकी सहमति पर शासकीय सेवा में नियुक्ति, उनके पैतृक कस्बे खुजनेर में शहीद की प्रतिमा की स्थापना और किसी संस्था का नाम शहीद के नाम पर किया जाएगा।
उन्होंने कहा, देश की एकता एवं अखंडता की रक्षा करते हुए उन्होंने अपना सर्वोच्च बलिदान दिया है। खुजनेर के लोगों को उन पर गर्व है। मध्य प्रदेश को उन पर गर्व है। देश को उन पर गर्व है।
शहीद मनीष का पार्थिव शरीर जम्मू कश्मीर से मंगलवार रात भोपाल लाया गया और बुधवार सुबह यहां से राजगढ़ जिले के उनके पैतृक कस्बे खुजनेर ले जाया जा रहा है, जहां उनका पूरी राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।