न्यूज़ डेस्क, अमर उजाला, देहरादून
Published by: Nirmala Suyal Nirmala Suyal
Updated Thu, 08 Apr 2021 09:53 AM IST
ऊधमसिंह नगर जिले में बहुचर्चित एनएच74 मुआवजा घोटाले के आरोपी पीसीएस अफसरों पर विभागीय कार्रवाई की तलवार लटक गई है। कार्मिक विभाग जांच रिपोर्ट पर आरोपित अधिकारियों का पक्ष जानने के बाद कार्रवाई की सिफारिश लोक सेवा आयोग को भेज सकता है।
आरोपित सात पीसीएस अफसरों की भूमिका की जांच कर रही अपर मुख्य सचिव मनीषा पंवार ने अभी तक तीन अफसरों की जांच पूरी कर रिपोर्ट कार्मिक विभाग को सौंप दी है। उन्होंने इसकी पुष्टि की है। उन्हें करीब ढाई साल पहले घोटाले में आरोपित अफसरों की जांच सौंपी गई थी। सभी आरोपित अधिकारी सेवा में हैं।
उधर, सचिव कार्मिक बीएस मनराल के मुताबिक, अभी जांच रिपोर्ट उनके पास नहीं पहुंची है। अपर मुख्य सचिव कार्मिक राधा रतूड़ी से इस संबंध में संपर्क नहीं हो सका।
सूत्रों के मुताबिक, एसीएस मनीषा पंवार ने जिन तीन मामलों की जांच सौंपी है, उनमें विभागीय कार्रवाई की सिफारिश की गई है। बाकी आरोपित अफसरों की जांच की रिपोर्ट भी आने वाले कुछेक दिन में कार्मिक विभाग को सौंपी जा सकती है।
एनएच 74 मुआवजा घोटाले में आयुक्त कुमाऊं की प्रारंभिक रिपोर्ट के आधार पर प्रदेश सरकार ने मार्च 2017 में आठ पीसीएस अधिकारियों को प्रथम दृष्ट्या दोषी माना था। इनमें एक अधिकारी सेवानिवृत्त हो गए थे।
ये पीसीएस अधिकारी निलंबित कर दिए गए थे
पीसीएस अधिकारी तीरथ पाल सिंह, अनिल शुक्ला, डीपी सिंह, नंदन सिंह नग्याल, भगत सिंह फोनिया, सुरेंद्र सिंह जंगपांगी और जगदीश लाल को निलंबित कर दिया गया था। इन्हें चार्जशीट सौंपी गई थी। इनके मामले की जांच का जिम्मा अपर मुख्य सचिव को सौंपा गया था।
कार्मिक लोकसेवा आयोग से भी लेगा राय
जांच में तीन प्रकरणों में विभागीय कार्रवाई की सिफारिश की गई है। कार्मिक विभाग जांच रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद कार्रवाई के संबंध में लोक सेवा आयोग से सिफारिश मांगेगा। लेकिन इससे पहले वह जांच रिपोर्ट पर आरोपित अधिकारियों का एक बार पक्ष लेगा और उसके बाद कार्रवाई की सिफारिश आयोग को भेजेगा।
विस्तार
ऊधमसिंह नगर जिले में बहुचर्चित एनएच74 मुआवजा घोटाले के आरोपी पीसीएस अफसरों पर विभागीय कार्रवाई की तलवार लटक गई है। कार्मिक विभाग जांच रिपोर्ट पर आरोपित अधिकारियों का पक्ष जानने के बाद कार्रवाई की सिफारिश लोक सेवा आयोग को भेज सकता है।
आरोपित सात पीसीएस अफसरों की भूमिका की जांच कर रही अपर मुख्य सचिव मनीषा पंवार ने अभी तक तीन अफसरों की जांच पूरी कर रिपोर्ट कार्मिक विभाग को सौंप दी है। उन्होंने इसकी पुष्टि की है। उन्हें करीब ढाई साल पहले घोटाले में आरोपित अफसरों की जांच सौंपी गई थी। सभी आरोपित अधिकारी सेवा में हैं।
उधर, सचिव कार्मिक बीएस मनराल के मुताबिक, अभी जांच रिपोर्ट उनके पास नहीं पहुंची है। अपर मुख्य सचिव कार्मिक राधा रतूड़ी से इस संबंध में संपर्क नहीं हो सका।
सूत्रों के मुताबिक, एसीएस मनीषा पंवार ने जिन तीन मामलों की जांच सौंपी है, उनमें विभागीय कार्रवाई की सिफारिश की गई है। बाकी आरोपित अफसरों की जांच की रिपोर्ट भी आने वाले कुछेक दिन में कार्मिक विभाग को सौंपी जा सकती है।
एनएच 74 मुआवजा घोटाले में आयुक्त कुमाऊं की प्रारंभिक रिपोर्ट के आधार पर प्रदेश सरकार ने मार्च 2017 में आठ पीसीएस अधिकारियों को प्रथम दृष्ट्या दोषी माना था। इनमें एक अधिकारी सेवानिवृत्त हो गए थे।
ये पीसीएस अधिकारी निलंबित कर दिए गए थे
पीसीएस अधिकारी तीरथ पाल सिंह, अनिल शुक्ला, डीपी सिंह, नंदन सिंह नग्याल, भगत सिंह फोनिया, सुरेंद्र सिंह जंगपांगी और जगदीश लाल को निलंबित कर दिया गया था। इन्हें चार्जशीट सौंपी गई थी। इनके मामले की जांच का जिम्मा अपर मुख्य सचिव को सौंपा गया था।
कार्मिक लोकसेवा आयोग से भी लेगा राय
जांच में तीन प्रकरणों में विभागीय कार्रवाई की सिफारिश की गई है। कार्मिक विभाग जांच रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद कार्रवाई के संबंध में लोक सेवा आयोग से सिफारिश मांगेगा। लेकिन इससे पहले वह जांच रिपोर्ट पर आरोपित अधिकारियों का एक बार पक्ष लेगा और उसके बाद कार्रवाई की सिफारिश आयोग को भेजेगा।