राजधानी देहरादून के सहसपुर थाना क्षेत्र के छरबा गांव में धारदार हथियार से फकीरा पुत्र फतेह आलम (70) की हत्या कर दी गई। हत्यारों ने बुजुर्ग के सिर पर वार किए।
हालांकि पुलिस को मौके से हत्या में प्रयुक्त हथियार बरामद नहीं हुआ है। मृतक के पुत्र जाकिर हुसैन की तहरीर पर पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है। हत्या का कारण स्पष्ट नहीं हो पाया है। घटना से क्षेत्र में दहशत है।
मृतक के दो पुत्र
मिली जानकारी के अनुसार, फकीरा मुस्लिम बस्ती में रहता था। उसके दो पुत्र जाकिर हुसैन और वादिर खान हैं। दोनों बस कंडक्टर हैं। फकीरा दोनों बेटों के मकानों के बीच बने कच्चे मकान में रहता था और खुले बरामदे में सोता था।
गुरुवार सुबह जब फकीरा नहीं उठा तो बेटे उसे जगाने पहुंचे। रजाई उठाने पर फकीरा का लहूलुहान शव देखकर उनके होश उड़ गए। घर में चीखपुकार मच गई। रोने बिलखने की आवाज सुनकर आसपास के लोग जमा हो गए।
सूचना मिलने पर एसपी देहात मणिकांत मिश्र, सीओ एसपी सिंह, थानाध्यक्ष सूर्य भूषण नेगी मयफोर्स घटना स्थल पर पहुंचे। फिंगर प्रिंट एक्सपर्ट और डॉग स्क्वॉयड ने घटना स्थल का मुआयना किया। होमोसाइड सेल ने भी हत्या से जुड़ी जानकारी जुटाई। सीओ ने बताया कि सभी पहलुओं की बारीकी से जांच की जा रही है।
फकीरा के नाम 20 बीघा जमीन
मृतक फकीरा के पास 20 बीघा जमीन है, जो उसके नाम है। ऐसे में जमीनी विवाद और आपसी रंजिश भी हत्या की वजह हो सकती है।
‘सज्जन व्यक्ति था’
छरबा गांव में किसी बुजुर्ग की हत्या की यह पहली वारदात है। फकीरा बुजुर्ग होने के बावजूद खुद ही खाना पकाता था। वह दोनों बेटों से अलग कच्चे मकान में रहता था। लोगों का कहना था कि फकीरा सज्जन व्यक्ति था और वह फकीरों जैसा ही जीवन जीता था।
राजधानी देहरादून के सहसपुर थाना क्षेत्र के छरबा गांव में धारदार हथियार से फकीरा पुत्र फतेह आलम (70) की हत्या कर दी गई। हत्यारों ने बुजुर्ग के सिर पर वार किए।
हालांकि पुलिस को मौके से हत्या में प्रयुक्त हथियार बरामद नहीं हुआ है। मृतक के पुत्र जाकिर हुसैन की तहरीर पर पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है। हत्या का कारण स्पष्ट नहीं हो पाया है। घटना से क्षेत्र में दहशत है।
मृतक के दो पुत्र
मिली जानकारी के अनुसार, फकीरा मुस्लिम बस्ती में रहता था। उसके दो पुत्र जाकिर हुसैन और वादिर खान हैं। दोनों बस कंडक्टर हैं। फकीरा दोनों बेटों के मकानों के बीच बने कच्चे मकान में रहता था और खुले बरामदे में सोता था।
गुरुवार सुबह जब फकीरा नहीं उठा तो बेटे उसे जगाने पहुंचे। रजाई उठाने पर फकीरा का लहूलुहान शव देखकर उनके होश उड़ गए। घर में चीखपुकार मच गई। रोने बिलखने की आवाज सुनकर आसपास के लोग जमा हो गए।
सूचना मिलने पर एसपी देहात मणिकांत मिश्र, सीओ एसपी सिंह, थानाध्यक्ष सूर्य भूषण नेगी मयफोर्स घटना स्थल पर पहुंचे। फिंगर प्रिंट एक्सपर्ट और डॉग स्क्वॉयड ने घटना स्थल का मुआयना किया। होमोसाइड सेल ने भी हत्या से जुड़ी जानकारी जुटाई। सीओ ने बताया कि सभी पहलुओं की बारीकी से जांच की जा रही है।
फकीरा के नाम 20 बीघा जमीन
मृतक फकीरा के पास 20 बीघा जमीन है, जो उसके नाम है। ऐसे में जमीनी विवाद और आपसी रंजिश भी हत्या की वजह हो सकती है।
‘सज्जन व्यक्ति था’
छरबा गांव में किसी बुजुर्ग की हत्या की यह पहली वारदात है। फकीरा बुजुर्ग होने के बावजूद खुद ही खाना पकाता था। वह दोनों बेटों से अलग कच्चे मकान में रहता था। लोगों का कहना था कि फकीरा सज्जन व्यक्ति था और वह फकीरों जैसा ही जीवन जीता था।