पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की पुण्यतिथि पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने किसानों और महिलाओं को सौगात दी। उन्होंने प्रदेश के 26 लाख 68 हजार किसानों, भूमिहीन कृषि मजदूरों, पशुपालकों और समूह से जुड़ी महिलाओं के खाते में 1804 करोड़ 50 लाख रुपये सीधे ट्रांसफर किए। इस दौरान उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ देश का पहला राज्य है, जिसने न्याय योजना के माध्यम से प्रदेश के लोगों के सामाजिक और आर्थिक अधिकारों को सुनिश्चित किया है।
मुख्यमंत्री बघेल ने बताया कि किसानों और समाज के वंचित तबकों को न्याय दिलाने के लिए सरकार ने तीन साल में कई योजनाएं शुरू की हैं। राजीव गांधी किसान न्याय योजना, गोधन न्याय योजना, राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना, सुराजी गांव योजना, नरवा-गरवा-घुरवा-बाड़ी कार्यक्रम, महात्मा गांधी रूरल इंडस्ट्रियल पार्क, 65 तरह के लघु वनोपजों की समर्थन मूल्य पर खरीदी, तेंदूपत्ता संग्रहण दर में बढ़ोतरी, सी-मार्ट की स्थापना जैसी कई योजनाएं सरकार के द्वारा चलाई जा रही हैं।
सीएम हाउस में आयोजित वर्चुअली कार्यक्रम में बघेल ने कहा कि राजीव गांधी किसान न्याय योजना का विस्तार करते हुए इसमें खरीफ की प्रमुख फसलों, उद्यानिकी फसलों, कोदो, कुटकी, रागी सहित पौधरोपण करने वाले कृषकों को भी शामिल किया है। इस योजना के तहत इस साल पहली किश्त के रूप में 1720 करोड़ 11 लाख रुपये की सब्सिडी दी गई है। साथ ही इस साल राज्य के किसानों को करीब 6900 करोड़ रुपये की इनपुट सब्सिडी दी जाएगी।
मुख्यमंत्री ने राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के अंतर्गत तीन लाख 55 हजार 402 हितग्राहियों को 2022-23 की पहली किश्त के रूप में 71 करोड़ 8 लाख 4 हजार रुपये की राशि जारी की। साथ ही वार्षिक सहायता राशि 6 हजार से बढ़ाकर 7 हजार रुपये भी कर दी गई है। गोधन न्याय योजना के अंतर्गत 13 करोड़ 31 लाख रुपये गोबर विक्रेताओं, गौठान समितियों और महिला स्व-सहायता समूहों को भी दिए गए। इसमें से 11 करोड़ 14 लाख गौठान समितियों व महिला समूहों को और दो करोड़ 17 लाख रुपये का भुगतान संग्राहकों के खाते में भेजे गए।
बता दें कि राजीव गांधी किसान न्याय योजना के तहत बीते 2 साल में राज्य के किसानों को 11 हजार 180 करोड़ का भुगतान किया जा चुका है। योजना के तहत आज जारी की गई प्रथम किश्त की राशि और गन्ना उत्पादक कृषकों को दी गई राशि को मिलाकर इनपुट सब्सिडी की यह राशि 13 हजार 22 करोड़ 45 लाख हो गई। इसी तरह गोधन न्याय योजना के तहत आज जारी की गई राशि को मिलाकर अब तक गोबर विक्रेताओं, गौठान समितियों और महिला समूहों को 250 करोड़ 40 लाख रुपये का भुगतान किया जा चुका है।
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पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की पुण्यतिथि पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने किसानों और महिलाओं को सौगात दी। उन्होंने प्रदेश के 26 लाख 68 हजार किसानों, भूमिहीन कृषि मजदूरों, पशुपालकों और समूह से जुड़ी महिलाओं के खाते में 1804 करोड़ 50 लाख रुपये सीधे ट्रांसफर किए। इस दौरान उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ देश का पहला राज्य है, जिसने न्याय योजना के माध्यम से प्रदेश के लोगों के सामाजिक और आर्थिक अधिकारों को सुनिश्चित किया है।
मुख्यमंत्री बघेल ने बताया कि किसानों और समाज के वंचित तबकों को न्याय दिलाने के लिए सरकार ने तीन साल में कई योजनाएं शुरू की हैं। राजीव गांधी किसान न्याय योजना, गोधन न्याय योजना, राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना, सुराजी गांव योजना, नरवा-गरवा-घुरवा-बाड़ी कार्यक्रम, महात्मा गांधी रूरल इंडस्ट्रियल पार्क, 65 तरह के लघु वनोपजों की समर्थन मूल्य पर खरीदी, तेंदूपत्ता संग्रहण दर में बढ़ोतरी, सी-मार्ट की स्थापना जैसी कई योजनाएं सरकार के द्वारा चलाई जा रही हैं।
सीएम हाउस में आयोजित वर्चुअली कार्यक्रम में बघेल ने कहा कि राजीव गांधी किसान न्याय योजना का विस्तार करते हुए इसमें खरीफ की प्रमुख फसलों, उद्यानिकी फसलों, कोदो, कुटकी, रागी सहित पौधरोपण करने वाले कृषकों को भी शामिल किया है। इस योजना के तहत इस साल पहली किश्त के रूप में 1720 करोड़ 11 लाख रुपये की सब्सिडी दी गई है। साथ ही इस साल राज्य के किसानों को करीब 6900 करोड़ रुपये की इनपुट सब्सिडी दी जाएगी।
मुख्यमंत्री ने राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना के अंतर्गत तीन लाख 55 हजार 402 हितग्राहियों को 2022-23 की पहली किश्त के रूप में 71 करोड़ 8 लाख 4 हजार रुपये की राशि जारी की। साथ ही वार्षिक सहायता राशि 6 हजार से बढ़ाकर 7 हजार रुपये भी कर दी गई है। गोधन न्याय योजना के अंतर्गत 13 करोड़ 31 लाख रुपये गोबर विक्रेताओं, गौठान समितियों और महिला स्व-सहायता समूहों को भी दिए गए। इसमें से 11 करोड़ 14 लाख गौठान समितियों व महिला समूहों को और दो करोड़ 17 लाख रुपये का भुगतान संग्राहकों के खाते में भेजे गए।
बता दें कि राजीव गांधी किसान न्याय योजना के तहत बीते 2 साल में राज्य के किसानों को 11 हजार 180 करोड़ का भुगतान किया जा चुका है। योजना के तहत आज जारी की गई प्रथम किश्त की राशि और गन्ना उत्पादक कृषकों को दी गई राशि को मिलाकर इनपुट सब्सिडी की यह राशि 13 हजार 22 करोड़ 45 लाख हो गई। इसी तरह गोधन न्याय योजना के तहत आज जारी की गई राशि को मिलाकर अब तक गोबर विक्रेताओं, गौठान समितियों और महिला समूहों को 250 करोड़ 40 लाख रुपये का भुगतान किया जा चुका है।