PM Narendra Modi Interact With Students Pariksha Pe Charcha 2023: प्रधानमंत्री ने शुक्रवार को ‘परीक्षा पे चर्चा’ कार्यक्रम में विद्यार्थियों, शिक्षकों और अभिभावकों से बात की। उन्होंने कहा कि समृद्ध लोकतंत्र के लिए आलोचना एक शुद्धि यज्ञ है। आलोचना समृद्ध लोकतंत्र की पूर्व शर्त है। उनसे पूछा गया था कि वह खुद आलोचना का सामना कैसे करते हैं। रायपुर की अदिति और डलहौजी की आरुषि ने पीएम मोदी से समय के प्रबंधन पर सवाल किया। पीएम मोदी ने कहा, सिर्फ परीक्षा ही नहीं, जीवन में भी समय प्रबंधन बहुत जरूरी है। इसे आप अपनी मां से सीख सकते हैं। सबसे ज्यादा काम मां ही करती है। किसी काम को करना उसे बोझ नहीं लगता है। उसे पता होता है कि मुझे इतने घंटे में यह काम करना है। अतिरिक्त समय में भी वह कुछ न कुछ रचनात्मक करती रहती है। मां को सही ढंग से देखेंगे, तो आप विद्यार्थी के तौर पर समय प्रबंधन कर लेंगे। पीएम मोदी ने छात्रों को जीवन में सफल होने के लिए खास मंत्र भी दिया। आइए जानते हैं पीएम मोदी के संवाद की बड़ी बातें...
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा 'परीक्षा पर चर्चा' मेरी भी परीक्षा है और देश के कोटि-कोटि विद्यार्थी मेरी परीक्षा ले रहे हैं... मुझे ये परीक्षा देने में आनंद आता है। परिवारों को अपने बच्चों से उम्मीदें होना स्वाभाविक है, लेकिन अगर यह सिर्फ सामाजिक स्थिति बनाए रखने के लिए है, तो यह खतरनाक हो जाता है।
PM नरेंद्र मोदी ने कहा कि सिर्फ परीक्षा के लिए नहीं वैसे भी जीवन में हमे समय के प्रबंधन के प्रति जागरूक रहना चाहिए। काम का ढेर इसलिए हो जाता है क्योंकि समय पर उसे नहीं किया। काम करने की कभी थकान नहीं होती, काम करने से संतोष होता है। काम ना करने से थकान होती है कि इतना काम बचा है।
पीएम ने छात्रों से कहा कि केवल परीक्षा के लिए ही नहीं हमें अपने जीवन में हर स्तर पर टाइम मैनेजमेंट को लेकर जागरूक रहना चाहिए। आप ऐसा स्लैब बनाइए कि जो आपको कम पसंद विषय है उसको पहले समय दीजिए... उसके बाद उस विषय को समय दीजिए जो आपको पसंद है।
'परीक्षा पर चर्चा' में छात्रों से पीएम मोदी ने कहा कि भारत में लोग औसतन 6 घंटे स्क्रीन पर बिताते हैं। यही चिंता की बात है। जब ईश्वर ने हमें एक स्वतंत्र अस्तित्व और असीम क्षमता वाला व्यक्तित्व दिया है तो गैजेट के गुलाम क्यों बनें?