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अफगानिस्तान के कंधार शहर की एक शिया मस्जिद में शुक्रवार दोपहर जोरदार धमाका हुआ। आरंभिक खबरों के अनुसार इसमें 37 लोगों की मौत हो गई और 70 घायल हुए हैं। जुमे की नमाज के दौरान शिया मस्जिद को लगातार दूसरे सप्ताह निशाना बनाया गया है। पिछले सप्ताह कुंदुंज प्रांत में इसी तरह धमाका किया गया था।
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हमले की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट ने ली है। साथ ही संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने अफगानिस्तान के कंधार में शिया मस्जिद पर हुए आतंकवादी हमले की कड़ी निंदा की है और एक पत्र जारी कर मारे गए लोगों के लिए दुख प्रकट किया है।
स्थानीय अधिकारियों ने टोलो न्यूज को बताया कि कंधार के सिटी पुलिस डिस्ट्रिक्ट 1 (PD1) स्थित मस्जिद में यह धमाका हुआ। विस्फोट में 37 लोग मारे गए हैं और 70 घायल हुए हैं। हमले की अभी किसी आतंकी समूह ने जिम्मेदारी नहीं ली है।
कंधार में हुआ धमाका इसलिए चौंकाने वाला है, क्योंकि यह तालिबान का गढ़ है। यानी देश में सत्तारूढ़ तालिबान का गढ़ ही सुरक्षित नहीं है। आतंकी संगठन आईएसआईएस शियाओं को लगातार निशाना बना रहा है, क्योंकि वह मानता है कि शिया इस्लाम के धोखेबाज हैं। आईएसआईएस के समर्थक सुन्नी हैं।
पिछले हफ्ते कुंदुज की शिया मस्जिद में हुआ था धमाका
इससे पहले आठ अक्तूबर को कुंदुज प्रांत की शिया मस्जिद में जुमे की नमाज के दौरान हुआ था। इसमें 50 से अधिक लोग मारे गए थे और 100 से ज्यादा लोग घायल हो गए थे। हमले की जिम्मेदारी आतंकी संगठन आईएस-के ने ली थी। इस धमाके की संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने कड़ी निंदा की थी।
सुरक्षा परिषद ने कहा था कि आतंक के आकाओं को न्याय के कटघरे में खड़ा करने की आवश्यकता है। यह हमला एक कायरतापूर्ण कृत्य है। आतंकवाद अंतरराष्ट्रीय समुदाय के लिए शांति व सुरक्षा का मुद्दा बन गया है। सुरक्षा परिषद ने आतंकवाद के आकाओं, इनके फाइनेंसरों को पकड़ने की आवश्यकता व्यक्त की।
इसलिए हुआ था हमला
घटना की जिम्मेदारी लेते हुए आईएस-के से जुड़ी आमाक संवाद एजेंसी ने हमलावर की पहचान एक उइगर मुस्लिम के रूप में की थी और दावा किया था कि इस हमले का निशाना शिया समुदाय और तालिबान दोनों थे क्योंकि चीन के दबाव में तालिबान उइगर मुस्लिमों को बाहर निकाल रहा है। अमेरिकी और नाटो सेनाओं के लौटने के बाद से आईएस लगातार तालिबान के शासन को चुनौती देने के साथ अल्पसंख्यक शिया समुदाय और उनके धर्मस्थलों को निशाना बना रहा है।
ज्यादा से ज्यादा रक्तदान की अपील
कंधार की इमाम बारगाह मस्जिद के फेसबुक अकाउंट से अपील की गई है कि ज्यादा से ज्यादा लोग रक्तदान करें। घटनास्थल पर खून और मानव शरीर के टुकड़े बिखरे देखे गए। यह मस्जिद शियाओं के लिए कंधार का सबसे बड़ा धर्मस्थल है और धमाके के वक्त यहां कई लोग मौजूद थे। घटनास्थल पर चारों तरफ खून के निशान और मानव अंगों को टुकड़े देखे गए।
असुरक्षित हैं देश के शिया अल्पसंख्यक
अफगानिस्तान में शिया अल्पसंख्यक अक्सर कई हमलों के शिकार होते रहे हैं। इनमें से कई हजारा शिया समुदाय के हैं। देश की शिया मस्जिदों में आने वाले नमाजियों पर हमला करने वालों में इस्लामिक स्टेट (आईएस) का हाथ रहा है। पिछले शुक्रवार को कुंदुज हमले की जिम्मेदारी भी उसी ने ली। बता दें कि अफगानिस्तान की कुल आबादी का 10 फीसदी हिस्सा शिया समुदाय का है।
इस्लामी अमीरात का विशेष बल पहुंचा
तालिबान सरकार में गृह मंत्रालय के प्रवक्ता कारी सैयद खोस्ती ने ट्वीट किया, हमें यह जानकर दुख हुआ कि कंधार शहर में शिया मस्जिद में धमाका हुआ है। इस्लामी अमीरात के विशेष बल घटना की प्रकृति का पता लगाने और अपराधियों को न्याय के कटघरे में लाने के लिए इलाके में पहुंच गए हैं और इस पर कार्रवाई करेंगे।