श्रीनगर। धारी देवी मंदिर तक बनी झील के कारण हुए नुकसान के मामले में जीवीके निदेशक प्रसन्ना रेड्डी और समन्वयक संतोष रेड्डी पर दर्ज मुकदमों की जांच पुलिस ने शुरू कर दी है। पुलिस ने संपत्ति के नुकसान के साथ ही मशीनरी के दुरुपयोग का मामला भी दर्ज किया है। इस संबंध में कई बिंदुओं पर मजिस्टीरियल जांच मांगी गई है, जिसमें सरकारी संपत्ति के नुकसान का आंकलन प्रमुख है। थानाध्यक्ष अनिल कुमार जोशी ने कहा कि जांच शुरू हो गई है, लेकिन जिन बिंदुओं पर मजिस्ट्रेटी जांच मांगी गई है, उनके लिए जांच की रिपोर्ट का इंतजार किया जाएगा। आईपीसी की धारा 427 में संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और धारा 287 में मशीनरी के दुरुपयोग के तहत मुकदमे दर्ज किए गए हैं।
मुकदमा दर्ज करने की निंदा
श्रीनगर। ग्राम विकास महिला संगठन की अध्यक्ष शीला पांडेय ने जीवीके के प्रशासकों पर मुकदमा दर्ज करने की निंदा की। उन्होंने कहा कि धारी-गंडासू और महरगांव को जोड़ने वाले मार्ग की शासन ने लंबे समय से सुध नहीं ली, लेकिन झूला पुल टूट जाने के बाद उसे जीवीके बना रहा है। इसके साथ ही भविष्य में पुनर्वास का वायदा भी कंपनी ने किया है। यदि कंपनी दे रही सुविधाओं को बंद कर दे, तो ग्रामीणों की दुर्दशा हो जाएगी।
श्रीनगर। धारी देवी मंदिर तक बनी झील के कारण हुए नुकसान के मामले में जीवीके निदेशक प्रसन्ना रेड्डी और समन्वयक संतोष रेड्डी पर दर्ज मुकदमों की जांच पुलिस ने शुरू कर दी है। पुलिस ने संपत्ति के नुकसान के साथ ही मशीनरी के दुरुपयोग का मामला भी दर्ज किया है। इस संबंध में कई बिंदुओं पर मजिस्टीरियल जांच मांगी गई है, जिसमें सरकारी संपत्ति के नुकसान का आंकलन प्रमुख है। थानाध्यक्ष अनिल कुमार जोशी ने कहा कि जांच शुरू हो गई है, लेकिन जिन बिंदुओं पर मजिस्ट्रेटी जांच मांगी गई है, उनके लिए जांच की रिपोर्ट का इंतजार किया जाएगा। आईपीसी की धारा 427 में संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और धारा 287 में मशीनरी के दुरुपयोग के तहत मुकदमे दर्ज किए गए हैं।
मुकदमा दर्ज करने की निंदा
श्रीनगर। ग्राम विकास महिला संगठन की अध्यक्ष शीला पांडेय ने जीवीके के प्रशासकों पर मुकदमा दर्ज करने की निंदा की। उन्होंने कहा कि धारी-गंडासू और महरगांव को जोड़ने वाले मार्ग की शासन ने लंबे समय से सुध नहीं ली, लेकिन झूला पुल टूट जाने के बाद उसे जीवीके बना रहा है। इसके साथ ही भविष्य में पुनर्वास का वायदा भी कंपनी ने किया है। यदि कंपनी दे रही सुविधाओं को बंद कर दे, तो ग्रामीणों की दुर्दशा हो जाएगी।