रामनगर (नैनीताल)। वर्ष 2008 में एसिड अटैक की शिकार कविता बिष्ट की आंखों की रोशनी चली गई और उनके जीवन में अंधेरा छा गया। कविता ने हौसला नहीं खोया और कविता वूमेन सपोर्ट होम का संचालन कर दिव्यांग बच्चों और समाज में पीड़ित महिलाओं के लिए काम कर रही हैं।
रानीखेत रोड स्थित टीआरसी के पास कविता बिष्ट ने धनतेरस पर पंडाल लगाया है। कविता वूमेन सपोर्ट होम में तैयार उत्पादों को खरीदकर आप भी उनके हौसले को सहारा दे सकते हैं। इस पंडाल को खोलने में उन्हें ईएसटीसी एसेल कंप्यूटर संस्थान के स्टाफ और बच्चों ने सहयोग किया है। इस पंडाल में दिव्यांग बच्चों और कविता सपोर्ट होम में जुड़ीं महिलाओं की ओर से तैयार सजावटी दीये, गुल्लक, सजावट का सामान, कुशन और अन्य उपयोगी सामग्री बिक्री के लिए रखी गई है।
पंडाल का शुभारंभ विधायक दीवान सिंह बिष्ट ने किया। उन्होंने भी पंडाल में सामग्री खरीदी और नगरवासियों से पंडाल पर आकर सजावटी सामान खरीद कर कविता और उनकी टीम का हौसला बढ़ाने की अपील की है।
इस दौरान गणेश रावत, राजू रावत, बबिता बिष्ट, राहुल रावत आदि भी मौजूद रहे।
रामनगर (नैनीताल)। वर्ष 2008 में एसिड अटैक की शिकार कविता बिष्ट की आंखों की रोशनी चली गई और उनके जीवन में अंधेरा छा गया। कविता ने हौसला नहीं खोया और कविता वूमेन सपोर्ट होम का संचालन कर दिव्यांग बच्चों और समाज में पीड़ित महिलाओं के लिए काम कर रही हैं।
रानीखेत रोड स्थित टीआरसी के पास कविता बिष्ट ने धनतेरस पर पंडाल लगाया है। कविता वूमेन सपोर्ट होम में तैयार उत्पादों को खरीदकर आप भी उनके हौसले को सहारा दे सकते हैं। इस पंडाल को खोलने में उन्हें ईएसटीसी एसेल कंप्यूटर संस्थान के स्टाफ और बच्चों ने सहयोग किया है। इस पंडाल में दिव्यांग बच्चों और कविता सपोर्ट होम में जुड़ीं महिलाओं की ओर से तैयार सजावटी दीये, गुल्लक, सजावट का सामान, कुशन और अन्य उपयोगी सामग्री बिक्री के लिए रखी गई है।
पंडाल का शुभारंभ विधायक दीवान सिंह बिष्ट ने किया। उन्होंने भी पंडाल में सामग्री खरीदी और नगरवासियों से पंडाल पर आकर सजावटी सामान खरीद कर कविता और उनकी टीम का हौसला बढ़ाने की अपील की है।
इस दौरान गणेश रावत, राजू रावत, बबिता बिष्ट, राहुल रावत आदि भी मौजूद रहे।