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अवधेश राय हत्याकांड: 32 साल पहले गोलियों से दहल उठा था बनारस, इसी मामले में मुख्तार अंसारी को उम्रकैद

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, वाराणसी Published by: उत्पल कांत Updated Mon, 05 Jun 2023 02:25 PM IST
सार

प्रदेश के पूर्व मंत्री और कांग्रेस के प्रांतीय अध्यक्ष अजय राय के बड़े भाई अवधेश राय की हत्या योजनाबद्ध तरीके से की गई थी। वाराणसी के लहुराबीर इलाके में कई बार रेकी की गई, फिर वारदात को अंजाम दिया गया। करीब 32 साल पहले अत्याधुनिक हथियारों से गोलियां बरसाई गई थीं। 

Awadhesh Rai murder case  Mukhtar Ansari punished varanasi was shaken by bullets 32 years ago
अवधेश राय हत्याकांड में मुख्तार अंसारी दोषी करार - फोटो : अमर उजाला

विस्तार
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जेल में बंद माफिया और पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी आज चर्चा में है। वाराणसी के चर्चित अवधेश राय हत्याकांड में एमपी-एमएलए कोर्ट ने मुख्तार अंसारी को उम्रकैद  की सजा सुनाई है। प्रदेश के पूर्व मंत्री और कांग्रेस के प्रांतीय अध्यक्ष अजय राय के बड़े भाई  अवधेश राय की हत्या योजनाबद्ध तरीके से की गई थी। कई बार रेकी की गई, फिर बदमाशों ने वारदात को अंजाम दिया। 32 साल पहले का यह मामला है क्या, आइए जानते हैं।



बेहद ही प्रतिष्ठित और संभ्रांत परिवार से आने वाला मुख्तार अंसारी बहुत कम में ही जरायम की दुनिया में सक्रिय हो गया था। गाजीपुर में 1988 में मंडी परिषद के ठेकेदार सच्चिदानंद राय की हत्या कर वह पहली बार सुर्खियों में आया। मुख्तार एक-एक कर अपराध की सीढ़ियां चढ़ता गया।

अवधेश पर अत्याधुनिक हथियारों से बरसाई गई थीं गोलियां

गाजीपुर के साथ ही चंदौली, वाराणसी, मऊ में अपना प्रभाव बढ़ाना शुरू किया। तीन अगस्त 1991 को वाराणसी के लहुराबीर इलाके में अवधेश राय की उनके घर के बाहर ही हत्या कर दी गई थी। इस हत्याकांड ने पूरे सूबे को हिलाकर रख दिया था। अवधेश राय अपने छोटे भाई अजय राय के साथ घर के बाहर ही खड़े थे। उनकी कार भी बाहर खड़ी थी। तभी उसी वक्त एक वैन वहां तेजी से आई। 
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हथियारबंद अपराधियों ने संभलने का मौका दिए बिना ही अवधेश राय पर ताबड़तोड़ गोलियां बरसाईं। पूरा इलाका गोलियों की तड़तड़ाहट से गूंज उठा था। इस घटना के बाद दहशत फैल गई थी। इससे पहले कि अजय राय कुछ कर पाते, हमलावर वहां से फरार हो गए। बदमाशों ने अत्याधुनिक हथियारों का प्रयोग किया और अवधेश के शरीर को गोलियों से छलनी कर दिया था।  वो लहूलुहान होकर जमीन पर गिर पड़े थे। आननफानन अस्पताल ले जाया गया जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया।

Awadhesh Rai murder case  Mukhtar Ansari punished varanasi was shaken by bullets 32 years ago
माफिया मुख्तार अंसारी - फोटो : अमर उजाला।
हत्या का आरोप माफिया मुख्तार अंसारी व उसके सहयोगियों पर लगा था। मृतक के भाई अजय राय की तहरीर पर हत्या का मुकदमा दर्ज हुआ था।  केस की सुनवाई के दौरान जून 2022 में पता चला कि मूल केस डायरी ही गायब है। वाराणसी से प्रयागराज तक केस डायरी की तलाशी हुई। मूल केस डायरी नहीं मिली। इस मामले में पुलिस ने केस दर्ज कराया है। मूल केस डायरी के गायब कराने के मामले में मुख्तार अंसारी पर अपने प्रभाव का इस्तेमाल करने का आरोप लगा।

दो आरोपियों की पत्रावली अब भी प्रयागराज में लंबित

अवधेश राय हत्याकांड के दो आरोपियों कमलेश सिंह और पूर्व विधायक अब्दुल कलाम की मौत हो चुकी है। मामले के दो अन्य आरोपी राकेश न्यायिक और भीम सिंह हैं। इस प्रकरण की सुनवाई पहले बनारस के एडीजे कोर्ट में चल रही थी। 23 नवंबर 2007 को सुनवाई के दौरान अदालत से चंद कदमों की दूरी पर बम ब्लास्ट हुआ। आरोपी राकेश न्यायिक ने सुरक्षा का हवाला देकर हाईकोर्ट की शरण ली।

इसके बाद लंबे समय तक इस मुकदमे की सुनवाई पर रोक लगी रही। विशेष न्यायाधीश एमपी-एमएलए कोर्ट का गठन होने पर प्रयागराज में मुकदमे की सुनवाई फिर शुरू हुई। वाराणसी में एमपी-एमएलए की विशेष कोर्ट के गठन होने पर यहां मुख्तार अंसारी के खिलाफ सुनवाई शुरू हुई। राकेश न्यायिक और भीम सिंह की पत्रावली अभी भी प्रयागराज में ही लंबित है।
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