वाराणसी। बेनिया के महासम्मेलन के बाद मंगलवार को गंगा महामुक्ति संग्राम की राष्ट्रीय कार्यसमिति की कोर कमेटी की पहली बैठक में अहम मसलों पर मंथन किया गया। खासतौर से पूर्वोत्तर के इलाकों को इस आंदोलन से जोड़ने की रणनीति पर चर्चा हुई। 18 जून को दिल्ली के किस मैदान में डेरा डाला जाएगा, इस पर सुझाव लिए गए। संतों ने पहली पसंद के तौर पर रामलीला मैदान को चुना है। कल्कि पीठाधीश्वर प्रमोद कृष्णम ने उम्मीद जताई कि दिल्ली की सरकार संतों को रामलीला मैदान में डेरा डालने से मना नहीं करेगी।
कोर कमेटी की लंबी मंत्रणा के बाद तय हुआ कि दिल्ली कूच को लेकर महासंग्राम के सहयोगी आध्यात्मिक नेताओं की पहली बैठक 28 मई को होगी। दीनदयाल उपाध्याय मार्ग स्थित गांधी शांति प्रतिष्ठान में संत दिल्ली हिलाने के लिए होने वाले व्यापक आंदोलन की रणनीति तय करेंगे। पहली रणनीतिक बैठक में महासंग्राम के संयोजक कल्कि पीठाधीश्वर के अलावा गंगा सेवा अभियानम के सार्वभौम संयोजक स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद, मैगसायसाय पुरस्कार विजेता जल पुरुष राजेंद्र सिंह, राष्ट्रीय संत महासभा के अध्यक्ष चक्रपाणि महाराज के अलावा कुछ सामाजिक कार्यकर्ता भी हिस्सा लेंगे।
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कनाट प्लेस में बनेगा कंट्रोल रूम
वाराणसी। संतों के दिल्ली कूच आंदोलन की सफलता के लिए मंगलवार की दोपहर कंट्रोल रूम की स्थापना का निर्णय लिया गया। इसके लिए दिल्ली के कनाट प्लेट में एक सुसज्जित कक्ष तैयार किया जा रहा है। कोर कमेटी के सदस्य पंकज के मुताबिक कनाट प्लेस के कंट्रोल रूम से ही दिल्ली कूच से जुड़ीं सभी सूचनाएं प्रिंट और इलेक्ट्रानिक मीडिया के अलावा संतो, भक्तों को भी मुहैया कराई जाएंगी।