वाराणसी। नरिया स्थित एक रिकार्डिगिं स्टूडियो से दस लाख की लूट के मामले में आरोपियों ने मुकदमा वापस नहीं लेने पर पीडि़त प्राचार्य को जान से मारने की धमकी दी है। पीडि़त का आरोप है कि इस मामले में लंका पुलिस ने सामान बरामद करने की कोशिश ही नहीं की और सिर्फ कुर्की उद्घोषणा की कार्रवाई कर चुप बैठ गई। पता चला है कि गैर जिले में तैनात एक पुलिस अधिकारी ने भी आरोपियों की पैरवी शुरू कर दी है।
बता दें कि करौंदी के मुरलीधर पांडेय सिवान स्थित इंटर कालेज के प्राचार्य हैं। संगीत से ताल्लुक रखने वाले प्राचार्य ने शिक्षा विभाग में आने से पहले नरिया स्थित सभापति भवन में एक रिकार्डिगिं स्टूडियो खोला था। 21 मार्च 2012 को लुटेरों ने स्टूडियो के नौकर को बंधक बनाकर ढाई लाख की मिक्सर मशीन, छह लाख की हार्ड डिस्क, डेढ़ लाख रुपये का स्पीकर समेत अन्य सामान लूट लिए। इस मामले में पुलिस ने नौकर शैलेश की भूमिका को संदिग्ध मानते हुए उसे गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तारी के बाद भुक्तभोगी प्राचार्य को धमकी दी गई कि दो लाख गुंडा टैक्स नहीं देने पर अंजाम भुगतना पड़ेगा। मोबाइल को सर्विलंास पर लगाकर पुलिस लुटेरों का पीछा करते हुए देवरिया तक गई। यहां स्थिति विपरीत देख पुलिस ने कदम पीछे खींच लिए। इस मामले में विवेचक आरके पांडेय ने देवरिया के दो गाड़ी गांव के नन्हें उर्फ आनंद तिवारी और मनीष मिश्रा के खिलाफ अदालत में प्रार्थनापत्र देकर पांच मई को धारा 182 के तहत कुर्की उद्घोषणा की कार्रवाई करने के लिए आदेश हासिल कर लिया। इसके बाद विवेचक का कंट्रोल रूम में तबादला कर दिया गया। अभी तीन और लुटेरों को चिह्नित करना बाकी है। अब प्राचार्य को जान से मारने की धमकी मिल रही है। इस मामले में प्राचार्य ने घटना से पुलिस को अवगत करा दिया है। प्राचार्य की माने तो कुछ सफेदपोश उनके ऊपर दबाव डालने के लिए कालेज तक गए थे।