उन्नाव। झाड़फूंक करने के बहाने घरवालों को प्रसाद खिलाकर बेहोश कर नकदी व जेवर लेकर फुर्र होने वाले तांत्रिक को जिला जज पंचम ने तीन वर्ष के सश्रम कारावास व पांच हजार रुपया अर्थदंड से दंडित किया है।
26 जून 2006 को कोतवाली के पश्चिमखेड़ा रहने वाले अच्छेमियां पुत्र गफ्फार के घर पर उनके बीमार पुत्र फैसल रुबी की झाड़ फूंक कराने के लिए कसाई चौराहा निवासी बहार लखनऊ के तांत्रिक फुरकान को लेकर आया था। तांत्रिक फुरकान ने पेड़े में कुछ मिलाकर उसे प्रसाद बता पूरे परिवार को खिला दिया। पेड़ा खाते ही परिवार के सभी सदस्य बेहोश हो गए। इसके बाद फुरकान अच्छेमियां के घर के कपड़े व जेवर लेकर गायब हो गया। होश में आने पर अच्छेमियां ने अभियुक्त फुरकान व बहार के खिलाफ कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराई। केस अपर जिला जज पंचक धर्मराज मिश्रा की कोर्ट में पहुंचा। पीड़ित ने अदालत में आरोपियों के विरुद्ध साक्ष्य दिया। सरकार की ओर से सहायक शासकीय अधिवक्ता रमेश चन्द्र द्विवेदी व बचाव पक्ष के वकीलों के तर्कों को सुनकर न्यायाधीश धर्मराज मिश्रा ने अभियुक्त फुरकान व साजिश रचने के आरोप में बहार को तीन-तीन वर्ष के कठोर कारावास व पांच-पांच हजार रुपया अर्थदंड लगाकर दंडित किया। अर्थदंड अदा न करने पर तीन-तीन वर्ष का अतिरिक्त कारावास भुगतना पड़ेगा।