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मेरठ। नौ जिलों के सैकड़ों शिक्षकों द्वारा परीक्षा का बहिष्कार करने का असर सीसीएसयू की सेमेस्टर परीक्षा पर नहीं पड़ा। शिक्षकों ने सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन किया और विवि पहुंचकर धरना भी दिया। शिक्षकों ने परीक्षा बहिष्कार जारी रखने की घोषणा की। वहीं 44 में से 43 सेंटरों पर बगैर रुकावट के सेमेस्टर परीक्षा हुई। गाजियाबाद के एमएमएच कॉलेज में सुबह की पाली का पेपर नहीं हुआ।
सोमवार सुबह दस बजे फुपुक्टा, मूटा, सीटा समेत नौ जिलों के शिक्षक मेरठ कॉलेज के गेट पर एकत्र हुए। करीब साढ़े ग्यारह बजे फुपुक्टा अध्यक्ष कृपा शंकर सिंह के नेतृत्व में शिक्षकों ने पैदल मार्च शुरू किया और विवि पहुंचे। कृपा शंकर सिंह ने विवि के मुख्य द्वार पर आयोजित सभा में कहा कि हमारी मांगें शासन से हैं। प्रदेश सरकार के पास उच्च शिक्षा की समस्याओं पर चर्चा के लिए समय नहीं है। सभा में सर्वसम्मति से मांगों को पूरा होने तक परीक्षा बहिष्कार की घोषणा की। इसके बाद प्रति कुलपति प्रो. जेके पुंडीर को मांग पत्र सौंपा। माध्यमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष ओम प्रकाश शर्मा और विधान परिषद सदस्य हेम सिंह पुंडीर ने शिक्षकों को समर्थन दिया। मूटा अध्यक्ष ईशपाल सिंह ने कि अगर मांगें नहीं मानी गई तो 27 फरवरी को विधानसभा का घेराव करेंगे। ईशपाल सिंह ने बताया कि नौ जिलों के 903 शिक्षकों में से 629 ने प्रदर्शन में हिस्सा लिया है। संचालन मूटा के सहायक सचिव डॉ. वकुल रस्तोगी ने किया। सभा में कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. गजेंद्र सिंह महामंत्री ईशपाल सिंह, डॉ. सतीश, डॉ. एनएल शर्मा, डॉ. एके चोपड़ा, डॉ. पीयूष वशिष्ठ, डॉ. मौज पाल सिंह, विकास शर्मा आदि मौजूद रहे। वहीं 43 सेंटरों पर विवि प्रशासन ने परीक्षा कराई। गाजियाबाद स्थित एमएमएच कॉलेज की प्रथम पाली की परीक्षा पेपर बंटने के बाद भी छात्र संघ अध्यक्ष सुनील चौधरी के विरोध के कारण नहीं हो सकी। सुनील को गिरफ्तार कर लिया।
रजिस्ट्रार के पत्र का विरोध
कुलपति विक्रम चंद्र गोयल के निर्देश पर रजिस्ट्रार द्वारा शिक्षकों को जारी पत्र का सभा में विरोध हुआ। शिक्षकों ने प्रति कुलपति जीके पुंडीर से पत्र को वापस लेने को कहा। पत्र में शिक्षकों के सामूहिक अवकाश को निरस्त करने को कहा था।
मेरठ। नौ जिलों के सैकड़ों शिक्षकों द्वारा परीक्षा का बहिष्कार करने का असर सीसीएसयू की सेमेस्टर परीक्षा पर नहीं पड़ा। शिक्षकों ने सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन किया और विवि पहुंचकर धरना भी दिया। शिक्षकों ने परीक्षा बहिष्कार जारी रखने की घोषणा की। वहीं 44 में से 43 सेंटरों पर बगैर रुकावट के सेमेस्टर परीक्षा हुई। गाजियाबाद के एमएमएच कॉलेज में सुबह की पाली का पेपर नहीं हुआ।
सोमवार सुबह दस बजे फुपुक्टा, मूटा, सीटा समेत नौ जिलों के शिक्षक मेरठ कॉलेज के गेट पर एकत्र हुए। करीब साढ़े ग्यारह बजे फुपुक्टा अध्यक्ष कृपा शंकर सिंह के नेतृत्व में शिक्षकों ने पैदल मार्च शुरू किया और विवि पहुंचे। कृपा शंकर सिंह ने विवि के मुख्य द्वार पर आयोजित सभा में कहा कि हमारी मांगें शासन से हैं। प्रदेश सरकार के पास उच्च शिक्षा की समस्याओं पर चर्चा के लिए समय नहीं है। सभा में सर्वसम्मति से मांगों को पूरा होने तक परीक्षा बहिष्कार की घोषणा की। इसके बाद प्रति कुलपति प्रो. जेके पुंडीर को मांग पत्र सौंपा। माध्यमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष ओम प्रकाश शर्मा और विधान परिषद सदस्य हेम सिंह पुंडीर ने शिक्षकों को समर्थन दिया। मूटा अध्यक्ष ईशपाल सिंह ने कि अगर मांगें नहीं मानी गई तो 27 फरवरी को विधानसभा का घेराव करेंगे। ईशपाल सिंह ने बताया कि नौ जिलों के 903 शिक्षकों में से 629 ने प्रदर्शन में हिस्सा लिया है। संचालन मूटा के सहायक सचिव डॉ. वकुल रस्तोगी ने किया। सभा में कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. गजेंद्र सिंह महामंत्री ईशपाल सिंह, डॉ. सतीश, डॉ. एनएल शर्मा, डॉ. एके चोपड़ा, डॉ. पीयूष वशिष्ठ, डॉ. मौज पाल सिंह, विकास शर्मा आदि मौजूद रहे। वहीं 43 सेंटरों पर विवि प्रशासन ने परीक्षा कराई। गाजियाबाद स्थित एमएमएच कॉलेज की प्रथम पाली की परीक्षा पेपर बंटने के बाद भी छात्र संघ अध्यक्ष सुनील चौधरी के विरोध के कारण नहीं हो सकी। सुनील को गिरफ्तार कर लिया।
रजिस्ट्रार के पत्र का विरोध
कुलपति विक्रम चंद्र गोयल के निर्देश पर रजिस्ट्रार द्वारा शिक्षकों को जारी पत्र का सभा में विरोध हुआ। शिक्षकों ने प्रति कुलपति जीके पुंडीर से पत्र को वापस लेने को कहा। पत्र में शिक्षकों के सामूहिक अवकाश को निरस्त करने को कहा था।