किशनी। विद्युत विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों की उदासीनता के चलते लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। किशनी क्षेत्र में 29 घंटे बिजली आपूर्ति ठप रहने से नगर पंचायत की जलापूर्ति भी चरमरा गई। अवर अभियंता के उपकेंद्र पर न रहने के चलते यहां तैनात संविदा कर्मचारी भी कोई संतोषजनक जवाब नहीं दे रहे थे। स्थानीय निवासियों ने अधिशासी अभियंता से निर्बाध आपूर्ति कराने की मांग की है।
रविवार को तड़के चार बजे किशनी क्षेत्र की बिजली आपूर्ति ठप पड़ गई। स्थानीय निवासियों ने उपकेंद्र पर जानकारी जुटाई। यहां कोई भी कर्मचारी संतोष जवाब नहीं दे पा रहा था। अधिकारियों से फोन पर संपर्क किया तो बताया गया कि मंछना के समीप एचटी लाइन का तार टूटने से आपूर्ति ठप है। आपूर्ति कब सुचारु होगी यह जानकारी देने वाला कोई नहीं था।
बिजली आपूर्ति ठप होने से नगर पंचायत की जलापूर्ति भी ठप पड़ गई। स्थानीय निवासी अमित कुमार का कहना था कि आए दिन बिजली आपूर्ति ठप कर दी जाती है। कहीं मंछना के समीप फाल्ट बताया जाता है तो कहीं किसी और स्थान पर। निर्बाध आपूर्ति के आदेश के बाद भी अघोषित बिजली कटौती से रहना मुश्किल है। अवर अभियंता भी उपकेंद्र पर न रुक कर जिला मुख्यालय पर निवास करते हैं। डैनी यादव का कहना है कि जानबूझ कर क्षेत्र में अघोषित बिजली कटौती की जा रही है। इसमें सुधार किया जाए। स्थानीय निवासियों ने अधिशासी अभियंता से विद्युत आपूर्ति सुचारु कराने की मांग की। वहीं रविवार को तड़के चार बजे ठप हुई बिजली आपूर्ति सोमवार सुबह नौ बजे सुचारु हो सकी।
किशनी। विद्युत विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों की उदासीनता के चलते लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। किशनी क्षेत्र में 29 घंटे बिजली आपूर्ति ठप रहने से नगर पंचायत की जलापूर्ति भी चरमरा गई। अवर अभियंता के उपकेंद्र पर न रहने के चलते यहां तैनात संविदा कर्मचारी भी कोई संतोषजनक जवाब नहीं दे रहे थे। स्थानीय निवासियों ने अधिशासी अभियंता से निर्बाध आपूर्ति कराने की मांग की है।
रविवार को तड़के चार बजे किशनी क्षेत्र की बिजली आपूर्ति ठप पड़ गई। स्थानीय निवासियों ने उपकेंद्र पर जानकारी जुटाई। यहां कोई भी कर्मचारी संतोष जवाब नहीं दे पा रहा था। अधिकारियों से फोन पर संपर्क किया तो बताया गया कि मंछना के समीप एचटी लाइन का तार टूटने से आपूर्ति ठप है। आपूर्ति कब सुचारु होगी यह जानकारी देने वाला कोई नहीं था।
बिजली आपूर्ति ठप होने से नगर पंचायत की जलापूर्ति भी ठप पड़ गई। स्थानीय निवासी अमित कुमार का कहना था कि आए दिन बिजली आपूर्ति ठप कर दी जाती है। कहीं मंछना के समीप फाल्ट बताया जाता है तो कहीं किसी और स्थान पर। निर्बाध आपूर्ति के आदेश के बाद भी अघोषित बिजली कटौती से रहना मुश्किल है। अवर अभियंता भी उपकेंद्र पर न रुक कर जिला मुख्यालय पर निवास करते हैं। डैनी यादव का कहना है कि जानबूझ कर क्षेत्र में अघोषित बिजली कटौती की जा रही है। इसमें सुधार किया जाए। स्थानीय निवासियों ने अधिशासी अभियंता से विद्युत आपूर्ति सुचारु कराने की मांग की। वहीं रविवार को तड़के चार बजे ठप हुई बिजली आपूर्ति सोमवार सुबह नौ बजे सुचारु हो सकी।