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कानपुर। फर्जी जमानतगीरों के सहारे एक अभियुक्त फिर फरार हो गया। जिस के नाम पर जमानत ली गई उसने अदालत में हाजिर होकर कहा कि उसने कभी किसी की जमानत ही नहीं ली है। आरटीओ दफ्तर से रिपोर्ट आई कि जमानत लेने में फर्जी लाइसेंस लगाया गया है। अदालत ने फर्जी जमानतगीरों को तसदीक (सत्यापन) करने वाले वकील को नोटिस भेजकर स्पष्टीकरण मांगा है कि क्यों न उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करते हुए बार काउंसिल उत्तर प्रदेश इलाहाबाद को सदस्यता निरस्त करने की संस्तुति कर दी जाए। वकील को 12 फरवरी को जवाब देना है।
विशेष महानगर मजिस्ट्रेट जेपी अग्रवाल की कोर्ट में 2001 का मो. नवाब बनाम राजेश ढांढे के खिलाफ मुकदमा विचाराधीन है। ट्रांसपोर्ट नगर निवासी मो. नवाब ने राजेश ढांढे प्रोपराइटर मेसर्स राज कुमार इंटरप्राइजेज स्थित नागपुर महाराष्ट्र के खिलाफ 175000 रुपये वापस लेने के लिए वाद दाखिल किया था। राजेश ने स्पेशल सीजेएम कोर्ट से 22 फरवरी 2007 को जमानत ली थी। जमानत दीपक कुमार पुत्र महेश कुमार निवासी चकेरी और अब्दुल करीम पुत्र स्व. अब्दुल हमीर रावतपुर बकरमंडी ने ली थी। अभियुक्त के कोर्ट न आने पर जमानतगीरों को नोटिस दी गई। इन दोनों जमानतगीरों का प्रमाणीकरण बंधपत्र में एडवोकेट विवेक कुमार पांडेय पंजीकरण संख्या 447/94 ने किया था। नोटिस मिलने पर सोमवार को अदालत में पेश हुए दीपक कुमार ने कहा कि उसके नाम से दूसरे व्यक्ति ने जमानत ली है। कोर्ट ने उसकी उम्र 17-18 साल मानी है। जिस व्यक्ति की फोटो वकील ने सत्यापित की है वह वृद्ध है। अब्दुल करीम के लाइसेंस का सत्यापन कर आरटीओ विवेक सोनकिया ने रिपोर्ट भेजी है कि लाइसेंस फर्जी है। अदालत ने कहा है कि यह कोर्ट के साथ धोखा है। अधिवक्ता को नोटिस जारी करते हुए स्पष्टीकरण मांगा गया है। दीपक कुमार के खिलाफ अग्रिम आदेश तक कार्यवाही स्थगित कर दी गई है।
इनसेट--
पहले भी हुए खुलासे
- एफटीसी पांच की कोर्ट में खुलासा हुआ था कि फर्जी जमानतगीरों के कारण एनडीपीएस के पांच अभियुक्त जेल से फरार हो गए
- गोविंद नगर पुलिस ने अपराधी नीतू नाई को पकड़ा तो खुलासा हुआ कि वह पहले फर्जी नाम से जेल गया और फर्जी जमानतगीरों के सहारे जेल से बाहर आ गया
- थाना कोतवाली से गैंगेस्टर अधिनियम में वांछित अभियुक्त हंसमुख मोदी फर्जी जमानतगीरों की मदद से फरार
- नकली नोटों का सौदागर प्रमोद कुमार मिश्रा फर्जी जमानतगीरों के सहारे फरार, दूसरे को सात साल कैद
- एफटीसी तीन प्रदीप सिंह की कोर्ट से फर्जी जमानतगीरों के सहारे एनडीपीएस का अभियुक्त विनय सिंह फरार हुआ
- एफटीसी चार अविनाश सक्सेना की कोर्ट से फर्जी जमानतगीरों के सहारे राजू उर्फ गेंडा और संतोष कुमार फरार हो गए
कानपुर। फर्जी जमानतगीरों के सहारे एक अभियुक्त फिर फरार हो गया। जिस के नाम पर जमानत ली गई उसने अदालत में हाजिर होकर कहा कि उसने कभी किसी की जमानत ही नहीं ली है। आरटीओ दफ्तर से रिपोर्ट आई कि जमानत लेने में फर्जी लाइसेंस लगाया गया है। अदालत ने फर्जी जमानतगीरों को तसदीक (सत्यापन) करने वाले वकील को नोटिस भेजकर स्पष्टीकरण मांगा है कि क्यों न उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करते हुए बार काउंसिल उत्तर प्रदेश इलाहाबाद को सदस्यता निरस्त करने की संस्तुति कर दी जाए। वकील को 12 फरवरी को जवाब देना है।
विशेष महानगर मजिस्ट्रेट जेपी अग्रवाल की कोर्ट में 2001 का मो. नवाब बनाम राजेश ढांढे के खिलाफ मुकदमा विचाराधीन है। ट्रांसपोर्ट नगर निवासी मो. नवाब ने राजेश ढांढे प्रोपराइटर मेसर्स राज कुमार इंटरप्राइजेज स्थित नागपुर महाराष्ट्र के खिलाफ 175000 रुपये वापस लेने के लिए वाद दाखिल किया था। राजेश ने स्पेशल सीजेएम कोर्ट से 22 फरवरी 2007 को जमानत ली थी। जमानत दीपक कुमार पुत्र महेश कुमार निवासी चकेरी और अब्दुल करीम पुत्र स्व. अब्दुल हमीर रावतपुर बकरमंडी ने ली थी। अभियुक्त के कोर्ट न आने पर जमानतगीरों को नोटिस दी गई। इन दोनों जमानतगीरों का प्रमाणीकरण बंधपत्र में एडवोकेट विवेक कुमार पांडेय पंजीकरण संख्या 447/94 ने किया था। नोटिस मिलने पर सोमवार को अदालत में पेश हुए दीपक कुमार ने कहा कि उसके नाम से दूसरे व्यक्ति ने जमानत ली है। कोर्ट ने उसकी उम्र 17-18 साल मानी है। जिस व्यक्ति की फोटो वकील ने सत्यापित की है वह वृद्ध है। अब्दुल करीम के लाइसेंस का सत्यापन कर आरटीओ विवेक सोनकिया ने रिपोर्ट भेजी है कि लाइसेंस फर्जी है। अदालत ने कहा है कि यह कोर्ट के साथ धोखा है। अधिवक्ता को नोटिस जारी करते हुए स्पष्टीकरण मांगा गया है। दीपक कुमार के खिलाफ अग्रिम आदेश तक कार्यवाही स्थगित कर दी गई है।
इनसेट--
पहले भी हुए खुलासे
- एफटीसी पांच की कोर्ट में खुलासा हुआ था कि फर्जी जमानतगीरों के कारण एनडीपीएस के पांच अभियुक्त जेल से फरार हो गए
- गोविंद नगर पुलिस ने अपराधी नीतू नाई को पकड़ा तो खुलासा हुआ कि वह पहले फर्जी नाम से जेल गया और फर्जी जमानतगीरों के सहारे जेल से बाहर आ गया
- थाना कोतवाली से गैंगेस्टर अधिनियम में वांछित अभियुक्त हंसमुख मोदी फर्जी जमानतगीरों की मदद से फरार
- नकली नोटों का सौदागर प्रमोद कुमार मिश्रा फर्जी जमानतगीरों के सहारे फरार, दूसरे को सात साल कैद
- एफटीसी तीन प्रदीप सिंह की कोर्ट से फर्जी जमानतगीरों के सहारे एनडीपीएस का अभियुक्त विनय सिंह फरार हुआ
- एफटीसी चार अविनाश सक्सेना की कोर्ट से फर्जी जमानतगीरों के सहारे राजू उर्फ गेंडा और संतोष कुमार फरार हो गए