तेराजाकेट (कन्नौज)। क्षेत्रीय एबीएसए ने स्कूल के भवन निर्माण में ग्राम प्रधान को खाता में संचालन से हटा कर खुद को संचालन के लिए मान्य कर के आदेश निर्गत कर दिये। जब गलत होने का आभास हुआ तो फिर पुन: ग्राम प्रधान को ही संचालन का आदेश जारी किया। उसमें भी गलती दर गलती देख प्रबन्धक ने अब बीएसए का ही आदेश लाने को कहा।
तालग्राम के खण्ड शिक्षा अधिकारी एसपी सिंह ने 13 अप्रैल को आर्यावर्त ग्रामीण बैंक की तेराजाकेट की शाखा में प्रबंधक को लिखा कि कन्या प्राइमरी विधालय विरौली का ग्राम शिक्षा निधि का खाता संख्या 8903 जिसका संचालन ग्राम प्रधान व राजेन्द्र पटेल प्रधान अध्यापक पूर्व माध्यमिक विधालय मायापुर्वा द्वारा संचालित हो रहा था। उसको अब राजेन्द्र पटेल के स्थान पर शमीम उप प्रधानध्यापक पूर्व माध्यमिक विधालय बिरौली तथा ग्राम प्रधान की जगह खण्ड शिक्षा अधिकारी द्वारा संचालित होगा।
उस खाते में दो लाख एक हजार रुपया अतिरिक्त कक्ष के निर्माण के हेतु भेजा गया। 17 मई को एक लाख पांच सौ रुपया निकालने हेतु बैंक में विड्रॉल आया जिस पर खण्ड शिक्षा अधिकारी एसपी सिंह व शमीम उप प्रधान अध्यापक के हस्ताक्षर थे। चूंकि खाता पर चेक बुक जारी थी और विड्रॉल के साथ पासबुक भी नही थी इस कारण भुगतान नही हो सका। इसकी जानकारी जब ग्राम प्रधान अमन आरती को हुयी तो उन्होने तो उच्चअधिकारियों से सम्पर्क साधा। स्वयं के द्वारा स्वयं को खाता संचालन के आदेश पर फंसता देख एबीएसए ने तुरन्त 18 तारीख को एक पुन: आदेश जारी किया। जिसमें शमीम के साथ ग्राम प्रधान को ही खाता संचालन के लिए शाखा प्रबन्धक को पत्र भेज दिया। फिर उसमें भी सुधार कर तारीख 18 में एक के स्थान पर जीरो बनाकर एक कर दी गयी। फिर भी यह भूल गये कि महीना मई का है और उसमें 18-9-12 यानि सितम्बर डाल गये।
शाखा प्रबन्धक आरके राठौर ने इस प्रकार की अनियमितता देख अब इस खाते में बेसिक शिक्षा अधिकारी द्वारा नये आदेश के बाद ही खाता संचालन के लिए कह दिया है। इस सम्बन्ध में खण्ड शिक्षा अधिकारी एस.पी. सिंह से वार्ता पर बताया कि शमीम उप प्रधान अध्यापक ने बताया कि ग्राम प्रधान पैसा निकालने में आनाकानी करते है। इस कारण खाते को बदला गया जो भूलवश ऐसा हुआ है। अब पुन: शमीम उप प्रधान अध्यापक तथा ग्राम प्रधान द्वारा खाते का संचालन होगा। इसका स्पष्टीकरण मैंने बेसिक शिक्षा अधिकारी को भेज दिया है।