संडीला (हरदोई)। पालिका क्षेत्र में करोड़ों खर्च के बावजूद नगर की जनता को जरूरत के हिसाब से पेयजल मुहैया नहीं हो पा रहा है। सवा लाख की आबादी के बीच दो टंकियों से पेयजल सप्लाई की जा रही है। इनमें से एक टंकी का ट्यूबवेल खराब पड़ा है, जिसकी मरम्मत कराने तक की जहमत नहीं उठाई गई। यहीं वजह है कि कई मोहल्ले ऐसे हैं, जहां अर्से से पानी नहीं पहुंचा, जिससे यहां के बाशिंदों को निजी संसाधनों से पेयजल व्यवस्था करनी पड़ती है।
क्षेत्र में करीब 445 इंडिया मार्का हैंडपंप लगे हैं। इनमें से दर्जनों खराब पड़े हैं, पर पालिका के कागजों पर मात्र 20 हैंडपंप ही रिबोर होने हैं। गर्मी के मौसम में पेयजल डिमांड बढ़ने के बावजूद क्षेत्र की जनता को पर्याप्त पानी मुहैया नहीं हो पा रहा है। आलम यह है कि सवा लाख की आबादी के बीच दो टंकियां हैं, पर बिजली कटौती से इनका भरना भी दूभर होता। टंकी से जैसे तैसे सप्लाई दी जाती है, तो सप्लाई जर्जर लाइनों की भेंट चढ़ जाती। लोगों की मानें तो लाइन में पानी आने पर बगैर मोटर लगाएं पानी अंदर नहीं जा सकता है। वहीं दमादपुरवा, चौधरपुरवा, बरौनी, पुरानी तहसील, मंडई समई कई मोहल्लों के बाशिंदों को पानी के संकट से जूझना पड़ रहा।
इधर, गढ़ी मंडई स्थित ट्यूबवेल खराब होने से टंकी में पानी भरना दूभर हो रहा है। ऐसे में बिजली की अघोषित कटौती से भी पेयजल समस्या गहराती जा रही है। पालिका प्रशासन का कहना है कि एक जनरेटर से सप्लाई देने की कोशिश की जाती, पर हकीकत में लोगों को पानी नहीं मिल पा रहा। यह स्थिति तब है जब पालिका क्षेत्र में पांच वर्षों के अंतराल में 22.57 करोड़ रुपए खर्च किए गए। इसके बावजूद 10 करोड़ से नगर की पेयजल व्यवस्था सुधरवाने के दावे किए जा रहे। पालिका के जेई अयूब ने बताया कि पेयजल को मंजूर 10 करोड़ में बीते साल 22 मार्च तक 49.97 किमी नई लाइन डालने का काम होना था। अब यह अवधि मार्च 13 तक बढ़ा दी गई है। उन्होंने बताया कि इस धनराशि में दो टंकि यां और बनवाई जा रही है। टंकियों को भरने को 2160 मीटर राइजिंग पाइप लाइन डाली जानी हैं, जिसमें 1150 मीटर पर काम चल रहा है। वहीं 22.5 किमी पाइप लाइन भी बदली जा चुकी है। दो टंकियां अभी निर्माणाधीन है।