हरदोई। समाजवादी पार्टी के घोषणा पत्र में प्रस्तावित बेरोजगारी भत्ते को अब जरूरतमंद हाथों तक पहुंचाने की कवायद शुरू कर दी गई है। जिसमें पंजीकृत हुए बेरोजगारों के सापेक्ष अब कुछ हजार लोगों को ही भत्ता मिल सकेगा। घोषणा पत्र में मानकों को पूर्णतया न बतलाने से जहां एक ओर कड़ी धूप में लाइन लगाकर 70 हजार से अधिक लोगों ने पंजीकरण करा डाला वहीं अब नियमानुसार सिर्फ 10 हजार को ही भत्ता मिल सकेगा। हालांकि अभी इसमें भी पंजीकृत बेरोजगारों का छटनी हो सकती है। फिलहाल पंजीकरण होने के बाद भी भत्ता न मिलने से कईयों के दिल टूट गए हैं।
समाजवादी पार्टी ने चुनाव से पूर्व अपने घोषणा पत्र में बेरोजगारों को भत्ता देना का प्रस्ताव किया। हालांकि उस दौरान घोषणा पत्र में किसी भी प्रकार का मानक तय नहीं था। ऐसे में बेरोजगारी भत्ता पाने की लालसा में जिले भर के युवा से लेकर अधेड़ वर्ग तक बेरोजगारों ने अपनी पंजीकरण करा लिया। जिले में करीब 70 हजार से अधिक बेरोजगारों ने पंजीकरण करा लिए। वहीं जब सपा की सरकार ने बेरोजगारी भत्ता के प्रस्ताव को अमल में लाना शुरू किया तो उसमें 30-40 उम्र तक के ही बेरोजगारों को भत्ता देने की बात कह कर हजारों युवाओं और 40 उम्र से अधिक के बेरोजगारों के दिलों को तोड़ दिया। फिलहाल इस संशोधन के बाद भी कुल 10780 बेरोजगारों को भत्ता देने के उपयुक्त माना गया। जिसमें 7357 पुरुष व 3423 महिलाएं हैं। इसी बीच सरकार से बेरोजगारी भत्ते में एक और संशोधन किया गया है। जिसके अनुसार जाबकार्ड धारक को बेरोजगार नहीं माना है। ऐसे में चयनित किए गए 10780 में से भी अपात्रों की छटनी की जा सकती है। सेवा योजन अधिकारी राजेश अवस्थी ने बताया कि फिलहाल अभी प्रक्रिया चल रही है।
हरदोई। समाजवादी पार्टी के घोषणा पत्र में प्रस्तावित बेरोजगारी भत्ते को अब जरूरतमंद हाथों तक पहुंचाने की कवायद शुरू कर दी गई है। जिसमें पंजीकृत हुए बेरोजगारों के सापेक्ष अब कुछ हजार लोगों को ही भत्ता मिल सकेगा। घोषणा पत्र में मानकों को पूर्णतया न बतलाने से जहां एक ओर कड़ी धूप में लाइन लगाकर 70 हजार से अधिक लोगों ने पंजीकरण करा डाला वहीं अब नियमानुसार सिर्फ 10 हजार को ही भत्ता मिल सकेगा। हालांकि अभी इसमें भी पंजीकृत बेरोजगारों का छटनी हो सकती है। फिलहाल पंजीकरण होने के बाद भी भत्ता न मिलने से कईयों के दिल टूट गए हैं।
समाजवादी पार्टी ने चुनाव से पूर्व अपने घोषणा पत्र में बेरोजगारों को भत्ता देना का प्रस्ताव किया। हालांकि उस दौरान घोषणा पत्र में किसी भी प्रकार का मानक तय नहीं था। ऐसे में बेरोजगारी भत्ता पाने की लालसा में जिले भर के युवा से लेकर अधेड़ वर्ग तक बेरोजगारों ने अपनी पंजीकरण करा लिया। जिले में करीब 70 हजार से अधिक बेरोजगारों ने पंजीकरण करा लिए। वहीं जब सपा की सरकार ने बेरोजगारी भत्ता के प्रस्ताव को अमल में लाना शुरू किया तो उसमें 30-40 उम्र तक के ही बेरोजगारों को भत्ता देने की बात कह कर हजारों युवाओं और 40 उम्र से अधिक के बेरोजगारों के दिलों को तोड़ दिया। फिलहाल इस संशोधन के बाद भी कुल 10780 बेरोजगारों को भत्ता देने के उपयुक्त माना गया। जिसमें 7357 पुरुष व 3423 महिलाएं हैं। इसी बीच सरकार से बेरोजगारी भत्ते में एक और संशोधन किया गया है। जिसके अनुसार जाबकार्ड धारक को बेरोजगार नहीं माना है। ऐसे में चयनित किए गए 10780 में से भी अपात्रों की छटनी की जा सकती है। सेवा योजन अधिकारी राजेश अवस्थी ने बताया कि फिलहाल अभी प्रक्रिया चल रही है।