{"_id":"76238","slug":"Farrukhabad-76238-34","type":"story","status":"publish","title_hn":"सिर्फ एक गैस सिलेंडर के लिए तरस रहे शहर के लोग","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
फर्रुखाबाद। कुकिंग गैस का उपयोग अब रसोई की बजाए दुकानों और चार पहिया गाड़ियों में अधिक हो रहा है। सिलेंडरों की कालाबाजारी करने वाले इसी की आड़ में मौज कर रहे हैं और घर का चूल्हा न जल पाने से कार्डधारक उपभोक्ताओं का सिर झुंझला रहा है।
बुकिंग कराने के बावजूद सिलेंडर एक महीने में भी प्राप्त नहीं हो रहे। गैस किल्लत की यह समस्या जनपद के सभी प्रमुख कस्बों में बढ़ती ही जा रही है लेकिन इस पर नियंत्रण करने वाले आला अफसर एक दूसरे पर जिम्मेदारी मढ़कर अपना काम पक्का करने में जुटे हैं। इस पर मीटिंग करने वाले सिटी मजिस्ट्रेट का ही प्रभावी कार्रवाई के संबंध में कहना है कि कोई बताए कि कालाबाजारी कहां हो रही है।
जिले में कुकिंग गैस एजेंसियां 13 और इससे पंजीकृत कार्डधारक करीब एक लाख हैं। इनमें 15 फीसदी कनेक्शन कामर्शियल हैं। घरेलू गैस सिलेंडर की सरकारी दर और कामर्शियल सिलेंडरों की दर में चार गुना से अधिक का अंतर है। घरेलू गैस के एक सिलेंडर की सरकारी कीमत 399 रुपए है। खुले बाजार में घरेलू गैस सिलेंडर की ब्लैक मार्केट दर सात सौ रुपए है। वहीं कामर्शियल सिलेंडर की सरकारी दर अट्ठारह सौ रुपए है. इसी का लाभ उठाकर गैस की कालाबाजारी करने वाले तेजी से फलफूल रहे हैं और रसोइयों में घरेलू गैस का अभाव होता जा रहा है। गोदामों में गैस के लोड पहुंचने पर होने वाली मारामारी किसी से लुकीछिपी नहीं है।
सिलेंडर पाने के लिए लोगों को अपनी रात की नींद तोड़नी पड़ती है तो कुछ लोग बुकिंग कराकर इस आस में घर वापस हो लेते हैं कि आठ दिन में उनके घर सिलेंडर पहुंच जाएगा। जिले की सभी एजेंसियों वाले क्षेत्र में कुकिंग गैस की जबर्दस्त किल्लत है। सबसे ज्यादा फर्रुखाबाद नगर पालिका क्षेत्र के करीब चालीस हजार कार्डधारक इस समस्या से जूझ रहे हैं। एजेंसी संचालक द्वारा परेशान किए जाने की शिकायत डीएम के पास भी पहुंच रही है।
आवास विकास कालोनी में रहने वाले कार्ड धारक धमेंद्र कुमार और नरेंद्र सिंह, कादरी गेट के पास रहने वाले कार्ड धारक मो.इस्लाम और अशोक कुमार गुप्ता, फतेहगढ़ में रहने वाले कार्ड धारक मन्नूलाल और अरविंद प्रसाद ने बताया कि गैस की किल्लत कैंसर के समान लगने लगी है जो कि शायद समाप्त नहीं होगी। कहा कि अफसरों को सब मालूम है लेकिन एजेंसी संचालकों की मनमानी पर कार्रवाई न होने से उनकी भूमिका भी संदिग्ध प्रतीत होती है। फतेहगढ़ के ही रहने वाले प्रमोद कुमार और सलमान ने बताया कि व्यापारिक प्रतिष्ठानों में घरेलू गैस सिलेंडर धड़ल्ले से उपयोग हो रहे हैं लेकिन घरेलू उपभोक्ताओं की दिक्कत को सरकार ही नहीं समझ रही है। प्रशासन के उच्चाधिकारियों के संज्ञान में कालाबाजारी की यह इंतहा होने के बावजूद कार्रवाई न होना ऊपरी स्तर पर मिलीभगत की ओर इशारा करता है।
उधर कुकिंग गैस की कालाजाबारी रोकने के संबंध में पहले विभागीय अफसर के साथ मीटिंग कर चुके सिटी मजिस्ट्रेट का अब कहना है कि कोई उन्हें बताए कि कालाबाजारी कहां हो रही है तो वे फौरन ही पहुंचकर वहां छापा मारेंगे। कहा कि एजेंसियों के कनेक्शन की जांच करना जिला पूर्ति अधिकारी का काम है। वे तो केवल सूचना मिलने पर छापेमारी कर सकते हैं।
विज्ञापन
विज्ञापन
रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे| Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.
विज्ञापन
विज्ञापन
एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें
अतिरिक्त ₹50 छूट सालाना सब्सक्रिप्शन पर
Next Article
Disclaimer
हम डाटा संग्रह टूल्स, जैसे की कुकीज के माध्यम से आपकी जानकारी एकत्र करते हैं ताकि आपको बेहतर और व्यक्तिगत अनुभव प्रदान कर सकें और लक्षित विज्ञापन पेश कर सकें। अगर आप साइन-अप करते हैं, तो हम आपका ईमेल पता, फोन नंबर और अन्य विवरण पूरी तरह सुरक्षित तरीके से स्टोर करते हैं। आप कुकीज नीति पृष्ठ से अपनी कुकीज हटा सकते है और रजिस्टर्ड यूजर अपने प्रोफाइल पेज से अपना व्यक्तिगत डाटा हटा या एक्सपोर्ट कर सकते हैं। हमारी Cookies Policy, Privacy Policy और Terms & Conditions के बारे में पढ़ें और अपनी सहमति देने के लिए Agree पर क्लिक करें।