बरेली। विकास प्राधिकरण की सीमान्तर्गत अवैध तरीके से होने वाले अवैध आवासीय व व्यावसायिक निर्माणाें को लेकर बीडीए अधिकारियों ने शिकंजा कसने की तैयारी कर ली है। प्राधिकरण अध्यक्ष राजमणि यादव के निर्देश पर शहर को दो जोन में बांटकर संयुक्त सचिव व उपसचिव की अगुवाई में दो टीमों का गठन किया गया है। विकास प्राधिकरण की ओर से गठित टीम निर्माणाधीन भवनाें की जंाच के साथ ही उन आवासीय व व्यावसायिक भवनों के बारे में जानकारियां जुटाएगी जिनका मानचित्र नहीं स्वीकृत कराया गया है।
गौरतलब है कि विकास प्राधिकरण की सीमान्तर्गत ढाई लाख के करीब आवासीय व व्यावसायिक भवन हैं। इन भवनों में से कुछ आवासीय व व्यावसायिक भवनों का मानचित्र विकास प्राधिकरण प्रशासन से स्वीकृत कराया गया है जिसका विकास शुल्क भी बाकायदा जमा कराया गया है लेकिन ज्यादातर भवन ऐसे हैं जिनका मानचित्र स्वीकृत नहीं है। साथ ही तमाम ऐसे निर्माणाधीन भवन भी हैं जो प्राधिकरण अधिकारियों व कर्मचारियों की मिलीभगत से बनाए भी जा रहे हैं। लेकिन इनके भवन स्वामियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहंीं की जा रही है। लेकिन प्राधिकरण उपाध्यक्ष राजमणि यादव ने ऐसे भवनों को चिन्हित करने व उन्हें विनियमित करने के लिए दो टीमों का गठन किया है। प्राधिकरण उपाध्यक्ष यादव ने बताया कि संयुक्त सचिव गुडाकेश शर्मा व उप सचिव अजय कुमार की अगुवाई में दो टीमों का गठन किया गया है। जांच पड़ताल के मद्देनजर पूरे शहर को दो जोन में बांट दिया गया है। टीमें भवनों की जांच पड़ताल कर अपनी रिपोर्ट सौपेंगी उसके आधार पर ही आगे की कार्रवाई की की जाएगी। प्राधिकरण उपाध्यक्ष ने बताया कि उनका पूरा प्रयास होगा कि ज्यादा से ज्यादा आवासीय व व्यावसायिक भवनों का विनियमितीकरण कर लिया जाए इससे जहां भवन स्वामियों को सहूलियतें मिलेंगी वहीं विकास शुल्क समेत अन्य मदों में राजस्व वसूली होने से प्राधिकरण की आय में भी इजाफा होगा।