सुरेमनपुर। बिहार और उत्तर प्रदेश दोनों राज्यों में बसा 27 टोलों का करीब 66 हजार की आबादी वाला सिताब दियारा घाघरा और गंगा के कटान से प्रभावित है। यहां के बाशिंदे आज भी मूलभूत सुविधाओं से महरूम हैं। इन्हें न तो शुद्ध पेयजल ही नसीब होता है और न ही इनके जीवन में उच्च शिक्षा की रोशनी है। स्वास्थ्य सुविधाओं से भी वंचित रहने वाले बाशिंदों को सिर्फ विकास की आस है।
परिसीमन के बाद सिताब दियारा दो हिस्सों में बंट गया। बिहार राज्य के छपरा (सारण) जिला अंतर्गत करीब 20 हजार की आबादी वाला ग्राम पंचायत सिताब दियारा में लाल टोला, मिश्रु टोला, शोभाछपरा, छोटका बैजू टोला, रामनगर, चैनछपरा, रावल टोला, छोटका सुफल टोला, आलेख टोला, गरीबा टोला आता है। सात हजार की आबादी वाला ग्राम पंचायत प्रभुनाथ नगर के अंतर्गत साहेबजादा टोला, बड़का बैजू टोला है। बिहार के आरा जिले के 14 हजार की आबादी वाला ग्राम पंचायत ख्वासपुर अंतर्गत गौरा टोला, जानकी बाजार, ख्वासपुर, मुजहीं आदि आता है। वहीं यूपी के 12 हजार की आबादी वाला इब्राहीमा बाद नौबरार अठगांवा के अंतर्गत देवदत्त पांडेय का टोला, शिवनारायण टोला, दलेल टोला, मुनेश्वर टोला, रमेश्वर टोला, घूरी टोला, नवका टोला, बड़का सुफल टोला आता है। 13 हजार की आबादी वाला ग्राम पंचायत कोड़रहा नौबरार अंतर्गत जय प्रकाश नगर, दलजीत टोला, बाबू के डेरा, भवन टोला, सठिया भवन टोला, संसार टोला, काशी राय के टोला शामिल है। यूपी के इस 25 हजार की आबादी को 27 टोलों के नाम से जाना जाता है। इस 66 हजार की आबादी के लिए अब तक पीने के लिए शुद्ध पेयजल की व्यवस्था नहीं हो पाई है। यहां के बाशिंदे बीमार होने पर या तो झोलाछाप डाक्टर के चंगुल में फंसने को मजबूर होते हैं या 30 से 40 किमी. दूर बिहार के छपरा और यूपी बलिया जिला मुख्यालय इलाज के लिए जाने को बाध्य हैं। जय प्रकाश नगर में एक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र है भी तो वहां चिकित्सकों का टोटा है। वहीं करोड़ों रुपये की लागत से बना सीएचसी जय प्रकाश नगर पर एक भी स्वास्थ्यकर्मी उपलब्ध नहीं हैं। बिहार और यूपी दोनों राज्यों के छात्र-छात्राएं आठवीं पास के बाद जय प्रकाश नगर में सेवा दास बाबा आश्रम इंटर कालेज व कन्या इंटर कालेज जेपी नगर में शिक्षा ग्रहण करते हैं।