मैनपुरी। प्रदेश के वित्त मंत्री द्वारा शीतकालीन सत्र के पहले दिन पेश किए गए अनुपूरक बजट में जिले को सीधे तौर पर कोई सौगात नहीं मिली है। वित्त मंत्री द्वारा विभिन्न योजनाओं के लिए अनुमोदित बजट की धनराशि का लाभ जिले को मिलने की संभावना है। सीधे तौर पर कोई सौगात नहीं मिलने से जिले के लोग अनुपूरक बजट में खुद को अब छला हुआ महसूस कर रहे हैं।
प्रदेश के वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना द्वारा विधानसभा के शीतकालीन सत्र के पहले दिन पेश किए गए अनुपूरक बजट से जिले के लोगों को झटका लगा है। वित्त मंत्री ने मैनपुरी को सीधे तौर पर कोई सौगात नहीं दी है। जिले के लोग इस बार भी ठगे गए हैं। सीधे तौर पर तो जिले को लाभ नहीं मिला है। लेकिन विभिन्न योजनाओं के लिए स्वीकृत अनुपूरक बजट की धनराशि से जिले के लोगों को लाभ मिलने की संभावना बनी हुई है।
जिन योजनाओं का लाभ जिले को मिल सकता है उनमें स्वामी विवेकानंद युवा सशक्तिकरण योजना के तहत टैबलेट और स्मार्ट फोन, ईको टूरिज्म, आंगनबाड़ी केंद्र निर्माण और अपग्रेडेशन, राज्य सड़क निधि के तहत सड़कों का अनुरक्षण, क्रीड़ा छात्रावास में हॉल और भवन निर्माण, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में उपकरण खरीद, रोडवेज की नवीन बसें, पिछड़ा वर्ग निर्धन बालिका शादी योजना शामिल हैं।
जिले में विकास की जरूरत है। कई जिलों के लिए उनके नाम से अनुपूरक बजट में सौगात दी गई है। मैनपुरी की अनुपूरक बजट में भी उपेक्षा की गई है।
- दीपक अग्रवाल, कर अधिवक्ता
सीधे तौर पर तो जिले को हालांकि कोई सौगात नहीं मिली है। लेकिन अन्य योजनाओं के लिए स्वीकृत बजट का लाभ मिल सकता है। जिले की एक बार फिर उपेक्षा की गई है।
- संदीप अग्रवाल, सीए
अनुपूरक बजट में भी किसान खाली हाथ रहा है। अन्नदाता किसान की एक बार फिर उपेक्षा की गई है। अनुपूरक बजट में भी खेती किसानी के लिए किसानों को कुछ नहीं मिला है।
- रामचंद्र, किसान
अनुपूरक बजट में भी व्यापारियों को छला गया है। व्यापारियों के लिए अनुपूरक बजट में कुछ नहीं मिला है। सरकार को सबसे ज्यादा कर देने वाला व्यापारी वर्ग ठगा गया है।
-सुनील वर्मा लालू, व्यापारी