डायबिटीज, रक्त में ग्लूकोज की बढ़ी हुई मात्रा के कारण होने वाली समस्या है। इसके शिकार लोगों में कई तरह की स्वास्थ्य समस्याएं देखी जाती रही हैं। घावों का देर से ठीक होना डायबिटीज रोगियों के लिए बड़ी समस्या रही है। आमतौर पर घाव या कट होने पर शरीर की हीलिंग प्रक्रिया स्वयं उस घाव को भरने लगती है और छोटे घाव चार-पांच दिनों के भीतर ठीक हो जाते हैं। पर डायबिटिक रोगियों में इस तरह के घावों को ठीक होने में हफ्तों लग जाते हैं। वहीं
अल्सर और डायबिटिक फुट जैसी समस्याओं में घावों के देर से भरने के कारण संक्रमण और कई तरह की अन्य दिक्कतों का भी जोखिम अधिक होता है।
हालांकि अब इन दिक्कतों को लेकर ज्यादा परेशान होने की जरूरत नहीं है। अमेरिकी शोधकर्ताओं ने बायोसेंसर के साथ एक नया स्मार्ट बैंडेज विकसित किया है जो डायबिटिक अल्सर और जलन जैसे पुराने घावों को ठीक करने में मदद कर सकती है।
शोधकर्ताओं का दावा है कि इस बैंडेज की मदद से मधुमेह रोगियों में अक्सर देखी जाने वाली गंभीर जटिलताओं को दूर करने में मदद मिल सकती है।
स्मार्ट बैंडेज से घावों का उपचार
कैलिफोर्निया इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (कैल्टेक) के शोधकर्ताओं ने इसे तैयार किया है, दावा किया जा रहा है कि स्मार्ट बैंडेज, डायबिटिक रोगियों में घावों के उपचार को आसान, अधिक प्रभावी रूप से कम खर्चे में ठीक कर सकता है।
कैल्टेक में मेडिकल इंजीनियरिंग के सहायक प्रोफेसर वेई गाओ कहते हैं, डायबिटिक रोगियों में घावों की समस्या कई प्रकार की जटिलताओं को बढ़ाने वाली मानी जाती है। डायबिटिक अल्सर और जलन की स्थिति में ये घाव लंबे समय तक नहीं ठीक होते हैं और रोगी के लिए बड़ी समस्या पैदा करते हैं। ऐसे लोगों के लिए यह बैंडेज काफी मददगार हो सकता है।
घावों में संक्रमण का लग सकेगा पता
साल 2018 के आंकड़ों के अनुसार, यूके में 22 लाख लोग मधुमेह में होने वाली घावों की समस्या से परेशान थे, जिनके इलाज की लागत 5.3 बिलियन डॉलर प्रति वर्ष के करीब की आती है। समय पर इन घावों का इलाज न होने और अल्सर बढ़ने के कारण हर साल लाखों लोगों की मौत हो जाती है।
इस बैंडेज डिवाइस में दो भाग हैं, जिसमें से एक में डिस्पोजेबल पैच लगा हुआ है, जो घावों को भरने में मदद करेगा। स्मार्ट बैंडेज डिवाइस में बायोसेंसर घाव की स्थिति जैसे तापमान, पीएच, ग्लूकोज, यूरिक एसिड और लैक्टेट सहित पदार्थों के स्तर की निगरानी कर सकता है। इससे यह पता लगाया जा सकता है कि कहीं घाव संक्रमित तो नहीं हो रहे हैं या इनमें इंफ्लामेशन की समस्या तो नहीं है?
चूहों पर अध्ययन में अच्छे परिणाम
साइंस एडवांसेज जर्नल में छपी रिपोर्ट के अनुसार मधुमेह के शिकार चूहों पर इस स्मार्ट बैंडेज का परीक्षण किया। बैंडेज, घाव के तापमान, शरीर में ग्लूकोज के स्तर और घाव में द्रव के पीएच स्तर सहित अन्य समस्याओं का पता लगाने में सक्षम थे। इन बैंड वाले चूहों में ड्रग रिलीज और विद्युत उत्तेजना दोनों का अच्छा सामंजस्य देखा गया। स्मार्ट बैंडेज का उपयोग एक से दो सप्ताह तक किया जा सकता है।
इंसानों पर शोध की तैयारी
शोधकर्ताओं की टीम का कहना है कि घावों को सूजन और संक्रमण से बचाने के लिए इस बैंडेज के भीतर संग्रहित एंटीबायोटिक या अन्य दवाओं को सीधे घाव वाली जगह पर पहुंचाया जा सकता है। प्रोफेसर गाओ कहते हैं, इसके परिणाम आशाजनक हैं, भविष्य में और विस्तृत शोध के माध्यम से इंसानों में इसके प्रभावों को समझने की कोशिश की जाएगी। अगर इसमें हमे सफलता मिलती है तो यह निश्चित ही मधुमेह रोगियों के जीवन की गुणवत्ता को सुधारने में काफी सहायक हो सकती है।
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स्रोत और संदर्भ
A stretchable wireless wearable bioelectronic system for multiplexed monitoring and combination treatment of infected chronic wounds
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