ज़िंदगी जीने का पहले हौसला पैदा करो
सिर्फ़ ऊँचे ख़ूबसूरत ख़्वाब मत देखा करो
दुख अँधेरों का अगर मिटता नहीं है ज़ेहन से
रात के दामन को अपने ख़ून से उजला करो
ख़ुद को पोशीदा न रक्खो बंद कलियों की तरह
फूल कहते हैं तुम्हें सब लोग तो महका करो
ज़िंदगी के नाम-लेवा मौत से डरते नहीं
हादसों का ख़ौफ़ ले कर घर से मत निकला करो आगे पढ़ें
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