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उधमपुर। यूनिवर्सिटी कैंपस की अपनी इमारत के लिए विद्यार्थियों का कई वर्ष लंबा इंतजार सोमवार को खत्म हुआ। जम्मू यूनिवर्सिटी ने शहर से करीब 12 किलोमीटर दूर गरनेई इलाके में करीब एक करोड़ की लगात से यूनिवर्सिटी कैंपस की अस्थाई इमारत तैयार करके सोमवार से कक्षाएं आरंभ कर दी। किराए की इमारत से अपनी इमारत में स्थानांतरित होने पर विद्यार्थियों की खुशी का ठिकाना नहीं है।
वर्ष-2004 में जिला उधमपुर में यूनिवर्सिटी कैंपस को मंजूरी मिली थी। कैंपस की इमारत के निर्माण के लिए विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) की तरफ से 25 करोड़ रुपये का प्रस्ताव भी मंजूर कर लिया गया।
यूनिवर्सिटी ने राजस्व विभाग के साथ मिलकर शहर से पांच किलोमीटर दूर बैली गांव में जमीन का भी चयन कर लिया। इससे पहले गांववासियों से जमीन खरीदी जाती गांववासियों ने जमीन देने से मना कर दिया था, जिसके बाद यूनिवर्सिटी कैंपस की इमारत का निर्माण कार्य अधर में लटक गया। 2010 में कई विद्यार्थी संगठनों ने यूनिवर्सिटी कैंपस इमारत का निर्माण कार्य शुरू करने की मांग को लेकर आंदोलन शुरू किया। जम्मू यूनिवर्सिटी के अधिकारियों ने आनन-फानन में गरनेई इलाके में जमीन खरीद कर 2011 का सत्र शुरू करवाने का आश्वासन देकर विद्यार्थियों के भूख हड़ताल को बंद करवाया।
जम्मू यूनिवर्सिटी के रेक्टर ऑफिसर प्रो. केशव शर्मा ने बताया कि कैंपस को किराए की इमारत से अपनी इमारत में स्थानांतरित करके कक्षाएं शुरू कर दी गई है, जल्द इसका अधिकारिक रूप से उद्घाटन भी कर दिया जाएगा।
उधमपुर। यूनिवर्सिटी कैंपस की अपनी इमारत के लिए विद्यार्थियों का कई वर्ष लंबा इंतजार सोमवार को खत्म हुआ। जम्मू यूनिवर्सिटी ने शहर से करीब 12 किलोमीटर दूर गरनेई इलाके में करीब एक करोड़ की लगात से यूनिवर्सिटी कैंपस की अस्थाई इमारत तैयार करके सोमवार से कक्षाएं आरंभ कर दी। किराए की इमारत से अपनी इमारत में स्थानांतरित होने पर विद्यार्थियों की खुशी का ठिकाना नहीं है।
वर्ष-2004 में जिला उधमपुर में यूनिवर्सिटी कैंपस को मंजूरी मिली थी। कैंपस की इमारत के निर्माण के लिए विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) की तरफ से 25 करोड़ रुपये का प्रस्ताव भी मंजूर कर लिया गया।
यूनिवर्सिटी ने राजस्व विभाग के साथ मिलकर शहर से पांच किलोमीटर दूर बैली गांव में जमीन का भी चयन कर लिया। इससे पहले गांववासियों से जमीन खरीदी जाती गांववासियों ने जमीन देने से मना कर दिया था, जिसके बाद यूनिवर्सिटी कैंपस की इमारत का निर्माण कार्य अधर में लटक गया। 2010 में कई विद्यार्थी संगठनों ने यूनिवर्सिटी कैंपस इमारत का निर्माण कार्य शुरू करने की मांग को लेकर आंदोलन शुरू किया। जम्मू यूनिवर्सिटी के अधिकारियों ने आनन-फानन में गरनेई इलाके में जमीन खरीद कर 2011 का सत्र शुरू करवाने का आश्वासन देकर विद्यार्थियों के भूख हड़ताल को बंद करवाया।
जम्मू यूनिवर्सिटी के रेक्टर ऑफिसर प्रो. केशव शर्मा ने बताया कि कैंपस को किराए की इमारत से अपनी इमारत में स्थानांतरित करके कक्षाएं शुरू कर दी गई है, जल्द इसका अधिकारिक रूप से उद्घाटन भी कर दिया जाएगा।