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S400 Missile System: The third regiment of S400 missile coming from Russia, know what is its specialty?
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S400 Missile System: रूस से आ रहा S400 मिसाइल का तीसरा रेजीमेंट, जानें क्या है इसकी खासियत?
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: हिमांशु मिश्रा
Updated Tue, 07 Feb 2023 01:24 PM IST
सार
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इस मिसाइल को लेकर पिछले साल अमेरिकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन ने कई दावे किए थे। पेंटागन ने कहा था कि अगर चीन और पाकिस्तान ने भारत के खिलाफ कोई साजिश की तो भारतीय सेना इस मिसाइल का प्रयोग उनके खिलाफ कर सकती है।
रूस से S400 मिसाइल सिस्टम का तीसरा रेजीमेंट भारत आ रहा है। इसके आते ही भारत की सैन्य शक्ति में जबरदस्त इजाफा होगा। ये मिसाइल दुश्मनों के पसीने छुड़ाने के लिए काफी है। इस मिसाइल को लेकर पिछले साल अमेरिकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन ने कई दावे किए थे। पेंटागन ने कहा था कि अगर चीन और पाकिस्तान ने भारत के खिलाफ कोई साजिश की तो भारतीय सेना इस मिसाइल का प्रयोग उनके खिलाफ कर सकती है। ऐसे में सवाल उठ रहा है कि आखिर इस मिसाइल में ऐसी क्या खासियत है? भारत में ऐसी कितनी मिसाइलें हैं? आइए समझते हैं...
पहले मिसाइल के बारे में जान लीजिए
S400 मिसाइल के एक रेजीमेंट में आठ लॉन्चर होते हैं। मतलब आठ लॉन्चिंग ट्रक और हर एक ट्रक में चार लॉन्चर होते हैं। हर लॉन्चर से चार मिसाइलें निकलती हैं। मतलब एक रेजीमेंट कभी भी 32 मिसाइलें दाग सकता है। भारत के पास अभी दो रेजीमेंट है और ये तीसरा रेजीमेंट रूस से आ रहा है।
S400 मिसाइल सिस्टम का पूरा नाम एस-400 एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम है। यह आसमान से घात लगाकर आने वाली किसी भी मिसाइल को पलक झपकते ही बर्बाद करने की क्षमता रखता है। यह दुनिया की सबसे सटीक एयर डिफेंस सिस्टम है। खास बात ये है कि किसी भी क्षेत्र से आने वाले न्यूक्लियर मिसाइल को भी ये हवा में ही नष्ट करने की क्षमता रखता है। इसके जरिए दुश्मनों की सीमा के अंदर भी नजर रखी जा सकती है।
इस मिसाइल सिस्टम को नाटो द्वारा SA-21 ग्रोवलर भी कहा जाता है। माइनस 50 से माइनस 70 डिग्री सेल्सियस तक तापमान में ये काम करने की क्षमता रखता है। इस मिसाइल को नष्ट कर पाना भी काफी मुश्किल होता है, क्योंकि इसकी कोई तय जगह नहीं होती है। इसे असानी से डिटेक्ट भी नहीं किया जा सकता है।
S400 मिसाइल की खासियत
S400 चार रेंज की मिसाइलें होती हैं। ये 40, 100, 200 और 400 किलोमीटर की दूरी तक दुश्मन के किसी भी हथियार को नष्ट करने की क्षमता रखती हैं।
यह 100 से 40 हजार फीट तक उड़ने वाले हर टारगेट को नष्ट करने की क्षमता रखता है।
यह सिस्टम मिसाइल, एयरक्राफ्ट या फिर ड्रोन से हुए किसी भी तरह के हमले से निपटने में सक्षम है।
1967 में बनी थी पहली मिसाइल
S400 मिसाइल का इतिहास भी काफी पुराना है। पहली बार 1967 में रूस ने एस-200 प्रणाली विकसित की थी। ये एस सीरीज की पहली मिसाइल थी। इसके बाद साल 1978 में एस-300 विकसित किया गया। 1990 में एस-400 विकसित किया गया। 2007 को रूस ने पहली एस-400 मिसाइल सिस्टम को तैनात किया था।
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