अमेरिका के रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन कल अपने दो दिवसीय दौरे के लिए चार जून को भारत पहुंचे। यह उनकी दूसरी भारत यात्रा है। भारत पहुंचकर लॉयड ऑस्टिन मे रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से दिल्ली के मानेकशॉ सेंटर में मुलाकात की। राजनाथ सिंह की उपस्थिति में तीनों सेनाओं ने ऑस्टिन को दिल्ली में ट्राई सर्विस गार्ड ऑफ ऑनर दिया। इसके बाद दोनों देशों के रक्षा मंत्री ने द्विपक्षीय मीटिंग के लिए चले गए।
राजनाथ सिंह और लॉयड ऑस्टिन के बीच द्विपक्षीय मीटिंग के बाद रक्षा मंत्रालय ने बयान जारी किया। उन्होंने कहा- 'रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और अमेरिकी रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने दिल्ली में वार्ता की और मजबूत रक्षा सहयोग गतिविधियों की समीक्षा की। दोनों मंत्रियों ने नई तकनीकों के सह विकास और सह उत्पादन पर भी ध्यान केंद्रित करने पर बातचीत की।'
इस द्विपक्षीय बैठक के बाद लॉयड ऑस्टिन ने कहा- 'अपने मित्र राजनाथ सिंह से मिलकर अच्छा लगा। अमेरिका-भारत रक्षा संबंधों के प्रति उनकी अटूट प्रतिबद्धता के लिए उनका धन्यवाद। उनकी लीडरशिप दोनों देशों के बीच संयुक्त अभ्यास, सहयोग और प्रौद्योगिकी के विकास में काफी मददगार साबित होगा।'
उन्होंने आगे कहा- 'भारत-अमेरिका वैश्विक रणनीतिक साझेदारी तेजी से बढ़ रही है। भारत-अमेरिका साझेदारी एक मुक्त और खुले भारत-प्रशांत की आधारशिला है। हमने दोनों देशों के रक्षा औद्योगिक सहयोग के लिए एक महत्वाकांक्षी रोडमैप स्थापित किया है।'
ऑस्टिन ने कहा- 'हम तेजी से बदलती दुनिया का सामना कर रहे हैं। हम चीन की जबरदस्ती और यूक्रेन पर रूस की आक्रमकता, आतंकवाद और जलवायु परिवर्तन जैसी चुनौतियों का सामना कर रहे हैं।'
उन्होंने कहा- 'हमने सूचना शेयरिंग को बढ़ाने के तरीकों के साथ-साथ समुद्री सहयोग में सुधार के लिए नई पहलों पर चर्चा की। हमने हाल ही में अपने पहले रक्षा क्षेत्र और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस डायलॉग के लॉन्च का भी जश्न मनाया। हमें इससे उभरते डोमेन में एक साथ मिलकर काम करने में सहायता मिलेगी।'
बैठक में ऑस्टिन ने कहा- 'हमने नई पहल, इंडस-एक्स पर भी चर्चा की। इसका एकमात्र उद्देश्य अमेरिका और भारतीय रक्षा क्षेत्रों के बीच साझेदारी को तुरंत शुरू करना है। हम पीएम मोदी के वाशिंगटन की राजकीय यात्रा के सहयोग में इंडस-एक्स के औपचारिक लॉन्च की भी प्रतीक्षा कर रहे हैं। हम केवल प्रौद्योगिकी का शेयर नहीं बल्कि एक दूसरे का पहले से अधिक सहयोग कर रहे हैं।'
ऑस्टिन ने भारत-अमेरिका के रिश्ते पर कहा- 'इंडो-पैसेफिक में नाटो की स्थापना का कोई प्रयास नहीं कर रहे हैं। हम मुक्त और खुले विचारों के साथ काम करेंगे। भारत और अमेरिका दोनों ही मुक्त और खुले भारत-प्रशांत के समान दृष्टिकोण साझा करते हैं। हम चाहते हैं कि हम वह करें जो हमने नहीं किया है।'
भारतीय रक्षा मंत्रालय ने जारी किया बयान
अमेरिकी रक्षा सचिव से हुई बातचीत क बाद रक्षा मंत्रालय ने बयान जारी करते हुए बताया कि आज दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय रक्षा सहयोग के मुद्दों और औद्योगिक सहयोग को मजबूत करने पर बात की गई। साथ ही इंडो-पैसेफिक क्षेत्र में शांति और स्थिरता बनाए रखने पर भी चर्चा की गई है।
भारतीय रक्षा मंत्रालय ने अपने बयान में कहा- 'रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और अमेरिकी रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने लचीली आपूर्ति श्रृंखलाओं के निर्माणों के तरीकों को ढूंढ निकाला है। दोनों ही देश नई तकनीकों के विकास और मौजूदा नी प्रणालियों के उत्पादन के अवसरों की पहचान करने और दोनों देशों के रक्षा स्टार्ट अप के बीच सहयोग को बढ़ावा देंगे। दोनों देशों ने औद्योगिक सहयोग के लिए एक रोडमैप तैयार किया है, जो अगले कुछ वर्षों के लिए मार्गदर्शन करेगा।'
कॉन्फेरेंस हॉल में राजनाथ सिंह ने लॉयड ऑस्टिन का हाथ मिलाकर उनका स्वागत किया और फिर दोनों एक-दूसरे से गले भी मिले। द्विपक्षीय बैठक के बाद राजनाथ सिंह और लॉयड ऑस्टिन दिल्ली के मानेकशॉ सेंटर से बाहर निकले। उन्होंने अपने समपक्ष अमेरिकी रक्षा मंत्री को गाड़ी में बैठाया और हाथ जोड़कर उन्हें अलविदा कहा। ऑस्टिन के जाने के बाद राजनाथ सिंह भी अपनी गाड़ी में बैठकर वापस चले गए।
अजीत डोभाल से भी मिले लॉयड ऑस्टिन
राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसी के सलाहकार अजीत डोभाल ने भी अमेरिकी रक्षा सचिव से मुलाकात की। दोनों ने समुद्री क्षेत्र में आला प्रौद्योगिकी, सेना और एयरोस्पेस डोमेन में क्षमताओं को बढ़ावा देने के साथ टेक्नोलॉजी के स्थानांतरण पर भी चर्चा की।
दोनों ही नेताओं ने अपने विश्वसनीय सप्लाई सूत्रों, लचीली आपूर्ति श्रृंखला और महान से महान उद्योग के पार्टनरशिप पर ध्यान केंद्रित करने पर सहमति जताई है। उन्होंने प्रौद्योगिकी के हस्तांतरण, सह-उत्पादन और भारत की मेक इन इंडिया और आत्मनिर्भर भारत पहल के अनुरूप स्वदेशी क्षमताओं के निर्माण पर भी बात की।
अजीत डोभाल और अमेरिकी रक्षा सचिव ने विभिन्न क्षेत्रों के देश मध्य पूर्व, दक्षिण एशिया और दक्षिण पूर्व एशिया और इंडो-पैसिफिक अपनी राष्ट्रीय प्राथमिकताओं के अनुरूप कार्रवाई की स्वतंत्रता बनाए रखने और खराब विकल्पों के लिए मजबूर न होने पर जोर दिया।
एनएसए डोभाल और अमेरिकी रक्षा मंत्री ने बैठक में कई अहम मुद्दों पर चर्चा की। इसमें वैश्विक चुनौतियों से लड़ने के लिए रणनीतिक साझेदारी पर चर्चा की गई। बैठक में दोनों देशों की जनता के रिश्तों को ध्यान में रखते हुए सरकारों के प्रयासों को आगे बढ़ाने पर भी बात हुई।
इससे पहले ऑस्टिन 2021 में भारत दौरे पर आए थे। ऑस्टिन इस साल भारत आने वाले चौथे अमेरिकी कैबिनेट स्तर के सचिव होंगे। इससे पहले विदेश मंत्री एंटनी जे ब्लिंकन, वित्त मंत्री जेनेट येलेन और वाणिज्य मंत्री जीना रायमोंडो ने फरवरी और मार्च में भारत का दौरा किया था।