पंचकूला। भरती नियमों के खिलाफ सेक्टर-5 स्थित शिक्षा सदन के सामने आंदोलन कर रहे शिक्षकों का आमरण अनशन पांचवें दिन में प्रवेश कर गया। शनिवार को चार शिक्षकों की हालत गंभीर हो गई है। इसमें एक महिला शिक्षक नेता भी शामिल हैं। शिक्षकों के स्वास्थ्य जांच के लिए सिविल अस्पताल से डाक्टर की एक टीम पहुंची और शिक्षकों को अस्पताल में रेफर करने की राय दी। इस बीच तहसीलदार कैप्टन विनोद शर्मा भी अपनी टीम के साथ पहुंचे और शिक्षकों से अस्पताल में भरती होने और आंदोलन छोड़ने की अपील की, लेकिन पात्र अध्यापक संघ नहीं माने और शिक्षा सदन के सामने डटे रहने की बात कही।
डाक्टरों की टीम का कहना है कि अध्यापक संघ के टीचरों का स्वास्थ्य लगातार गिरता जा रहा है। यदि इन्हें जल्द से जल्द अस्पताल नहीं पहुंचाया गया तो परिणाम गंभीर हो सकते हैं। चारों का ब्लड प्रेशर काफी नीचे आ चुका है। इनमें महिला विंग के प्रदेश अध्यक्ष अर्चना सुहासिनी, हिसार के पवन चमार खेड़ा, कैथल के अशोक और प्रेम अहलावत शामिल हैं। इसके अलावा प्रदेश अध्यक्ष राजेंद्र शर्मा का भी स्वास्थ्य लगातार गिरता जा रहा है। पांचवें दिन अनशनकारियों ने अनोखे तरीके से विरोध जताया। उन्होंने लोगों की कार रोक कर उनके शीशे साफ किए। इस दौरान महिला टीचरों ने भी कारों के शीशे साफ कर अपना गुस्सा जाहिर किया। उसके बाद डायरेक्टर सेकेंडरी एजूकेशन का पुतला भी फूंका।
पात्र अध्यापक संघ के प्रदेश अध्यक्ष राजेंद्र शर्मा ने बताया कि जब तक सरकार अपने उस नियम को नहीं बदलती, जिसमें सरकार चार वर्ष के शैक्षणिक अनुभव रखने वाले अध्यापकों को भरती करने का प्रावधान रखा गया है, तब तक आंदोलन जारी रहेगा।