केंद्र के निर्देशानुसार लॉकडाउन 4.0 रविवार को समाप्त हो गया है। इसके साथ ही एक जून से अनलॉक-1 शुरू हो रहा है, लेकिन अभी तक हरियाणा सरकार के नए दिशा निर्देश नहीं मिले हैं। ऐसे में सोमवार को फिलहाल जिले में सभी व्यवस्थाएं पूर्ववत चलती रहेंगी। नए दिशा-निर्देश आने के बाद ही यह तय हो सकेगा कि पहले चरण में जिला प्रशासन की ओर से किन चीजों को अनलॉक किया गया और किन क्षेत्रों को लॉकडाउन से कितनी रियायत मिली।
केंद्र सरकार ने एक जून से लॉकडाउन में ढील देते हुए अनलाक-1 की शुरुआत की है। इसके तहत अब कहीं जाने-आने के लिए पास की आवश्यकता नहीं होगी। वहीं रेलवे सहित अन्य यातायात संसाधन भी खुल रहे हैं। आवाजाही बढ़ने से बाजारों और अन्य कारोबार के दिन बहुरने की उम्मीद की जा रही है। पहले चरण में आठ जून से होटल, बारात घरों, रेस्टोरेंट, धार्मिक स्थल और शापिंग मॉल खुलने से उम्मीद जताई जा रही है, यानी कंटोनमेंट जोन को छोड़कर अन्य क्षेत्रों में काफी हद तक पाबंदियां हट सकती हैं, लेकिन राज्य सरकार और जिला प्रशासन की ओर से अभी इस संबंध में कोई गाइडलाइन जारी नहीं की गयी है। संभावना जतायी जा रही है कि सोमवार को इस संबंध में जिला प्रशासन की ओर से नए दिशा निर्देश जारी किये जा सकते हैं।
औद्योगिक इकाइयों, कारोबारियों को मिलेगा लाभ
अधिकांश उद्योग और कारोबार बाधित आवागमन के कारण खुलने के बावजूद भी नहीं चल पा रहे हैं। इसका मुख्य कारण यह रहा कि ना तो उद्यमों को रॉ मैटेरियल मिल पा रहा और ना ही तैयार मॉल बाहर जा पा रहा। कई राज्यों की सीमाएं सील होने के कारण लोग स्वयं भी कहीं नहीं जा पा रहे थे। बिना पास के आवागमन में छूट का फायदा ऐसे उद्यमों व कारोबारियों को मिल सकता है। हालांकि जिस तेजी के साथ कोरोना पॉजिटिव केस सामने आ रहे हैं, उसे लेकर औद्योगिक इकाइयों से भय का साया हटने में अभी वक्त लग सकता है। क्योंकि सोशल डिस्टेंसिंग सहित कई शर्तें इन इकाइयों पर लागू रहेंगी।
बैंकेट हाल-बारात घर संचालकों की दुविधा बरकरार
-शादी ब्याह हो या फिर कोई अन्य कार्यक्रम, लॉकडाउन के दौरान लोग बैंकेट हाल, बारात घरों को तो जैसे भूल ही चुके हैं। अब बैंकेट हाल, बारात घर खोलने की अनुमति मिल भी रही है तो सिर्फ पचास लोगों की सहभागिता की शर्त के साथ। ऐसे में इन्हें फिलहाल अधिक राहत नहीं मिल पाएगी। कारण कि किसी भी शादी में बैंडबाजे वाले, आतिशबाजी वाले, फोटो ग्राफर, हलवाई, कैटरिंग वाले, टेंट वाले, वेटर, शहनाई वाले, डीजे साउंड वाले, बर्तनों की धुलाई व सफाई वाले कई लोग काम करते हैं, जिनकी संख्या ही पचास से अधिक हो जाती है। दूसरी बात यदि कोई बड़ा परिवार है तो उसके अपने परिजनों व खास रिश्तेदारों की संख्या भी 50 से अधिक हो जाती है। ऐसे में तो लोग बड़े मैरिज हाल की बुकिंग से बचेंगे ही।
करीब दो महीने के बाद शोरूम खुला है, अभी तक सिर्फ दस फीसदी ही बिक्री है। शोरूम हर रविवार को ही खुलता था, लेकिन खुलते ही ग्राहकों की भारी भीड़ होती थी लेकिन अब ग्राहकों का इंतजार करना पड़ रहा है। क्योंकि लॉकडाउन में लोगों को बाहर आना जाना नहीं रहा, इस कारण जूता चप्पल कारोबार पर अधिक प्रभाव पड़ा है।
-कुलदीप कुमार, संचालक आरडी शूज, सदर बाजार करनाल।
बाजार तो काफी दिनों से खुल रहे हैं लेकिन कारोबार तो सिर्फ 25 प्रतिशत ही है। आलम यह है कि जिनकी दुकानें किराये पर हैं, वह किराया नहीं निकाल पा रहे हैं, दुकाने छोड़कर जाने लगे हैं। आठ जून से बदलावों को लेकर जब हरियाणा सरकार की गाइड लाइन आए तभी कुछ कहा जा सकता है, फिलहाल तो पुरानी स्थिति ही लागू है।
-डा.जेआर कालरा, जिलाध्यक्ष करनाल व्यापार मंडल।
-बारात घरों के बंद होने से सैकड़ों की रोजीरोटी पर संकट आ गया है, अब बारात घर खुलने की बात तो कही जा रही है लेकिन उसमें सहभागिता करने वालों की संख्या तो सिर्फ 50 ही रखी गई है। जबकि इतने तो दूल्हा व दुल्हन के परिवार के लोग ही हो जाते हैं, ऐसे में फोटोग्राफर्स व अन्य लोगों को रोजगार कैसे मिलेगा। लॉकडाउन में फोटोग्राफर्स कारोबार को लाखों की क्षति पहुंची है।
-हरमिंदर सिंह, प्रधान-फोटो ग्राफर्स एसोसिएशन करनाल।
-फोटो स्टूडियों की काफी खराब स्थिति है, लॉकडाउन में बुकिंग मिलनी तो लगभग बंद ही हो गई है। क्योंकि शादियां निरस्त हो गई हैं, जो हुई भी तो अत्यधिक कम लोगों में, तो वहां बुकिंग नहीं हो सकी। आलम यह है कि जो पहले ही शादियां हैं, जिनकी कैसेट व एल्बम बन चुकी हैं, न्हें भी लोग लेने नहीं आ रहे हैं। जिससे लगता है कि वह धन डूब जाएगा।
-अमित कुमार, न्यू कुमार स्टूडियो करनाल।
-बारात घर, बैंकेट हाल खुलने की इजाजत मिलने की बात तो कही जा रही है लेकिन अभी तक बुकिंग के नाम पर कोई फूंछने ही नहीं आ रहा है। जब तक सरकार पचास लोगों की सहभागिता की शर्त वापस नहीं लेती, तब तक बैंकेट हाल, बारात घरों की बुकिंग नहीं हो पाएगी। मार्च से मई तक 25 बुकिंग निरस्त हो गई हैं। हर बैंकेट हाल संचालक को लाखों का घाटा हो रहा है। जबकि सोशल डिस्टेसिंग, सैनिटाइजेशन के साथ अधिक लोगों की अनुमति देनी चाहिए।
-सुनील बिंदल, संचालक गोल्डन मूवमेंट करनाल।
केंद्र के निर्देशानुसार लॉकडाउन 4.0 रविवार को समाप्त हो गया है। इसके साथ ही एक जून से अनलॉक-1 शुरू हो रहा है, लेकिन अभी तक हरियाणा सरकार के नए दिशा निर्देश नहीं मिले हैं। ऐसे में सोमवार को फिलहाल जिले में सभी व्यवस्थाएं पूर्ववत चलती रहेंगी। नए दिशा-निर्देश आने के बाद ही यह तय हो सकेगा कि पहले चरण में जिला प्रशासन की ओर से किन चीजों को अनलॉक किया गया और किन क्षेत्रों को लॉकडाउन से कितनी रियायत मिली।
केंद्र सरकार ने एक जून से लॉकडाउन में ढील देते हुए अनलाक-1 की शुरुआत की है। इसके तहत अब कहीं जाने-आने के लिए पास की आवश्यकता नहीं होगी। वहीं रेलवे सहित अन्य यातायात संसाधन भी खुल रहे हैं। आवाजाही बढ़ने से बाजारों और अन्य कारोबार के दिन बहुरने की उम्मीद की जा रही है। पहले चरण में आठ जून से होटल, बारात घरों, रेस्टोरेंट, धार्मिक स्थल और शापिंग मॉल खुलने से उम्मीद जताई जा रही है, यानी कंटोनमेंट जोन को छोड़कर अन्य क्षेत्रों में काफी हद तक पाबंदियां हट सकती हैं, लेकिन राज्य सरकार और जिला प्रशासन की ओर से अभी इस संबंध में कोई गाइडलाइन जारी नहीं की गयी है। संभावना जतायी जा रही है कि सोमवार को इस संबंध में जिला प्रशासन की ओर से नए दिशा निर्देश जारी किये जा सकते हैं।
औद्योगिक इकाइयों, कारोबारियों को मिलेगा लाभ
अधिकांश उद्योग और कारोबार बाधित आवागमन के कारण खुलने के बावजूद भी नहीं चल पा रहे हैं। इसका मुख्य कारण यह रहा कि ना तो उद्यमों को रॉ मैटेरियल मिल पा रहा और ना ही तैयार मॉल बाहर जा पा रहा। कई राज्यों की सीमाएं सील होने के कारण लोग स्वयं भी कहीं नहीं जा पा रहे थे। बिना पास के आवागमन में छूट का फायदा ऐसे उद्यमों व कारोबारियों को मिल सकता है। हालांकि जिस तेजी के साथ कोरोना पॉजिटिव केस सामने आ रहे हैं, उसे लेकर औद्योगिक इकाइयों से भय का साया हटने में अभी वक्त लग सकता है। क्योंकि सोशल डिस्टेंसिंग सहित कई शर्तें इन इकाइयों पर लागू रहेंगी।
बैंकेट हाल-बारात घर संचालकों की दुविधा बरकरार
-शादी ब्याह हो या फिर कोई अन्य कार्यक्रम, लॉकडाउन के दौरान लोग बैंकेट हाल, बारात घरों को तो जैसे भूल ही चुके हैं। अब बैंकेट हाल, बारात घर खोलने की अनुमति मिल भी रही है तो सिर्फ पचास लोगों की सहभागिता की शर्त के साथ। ऐसे में इन्हें फिलहाल अधिक राहत नहीं मिल पाएगी। कारण कि किसी भी शादी में बैंडबाजे वाले, आतिशबाजी वाले, फोटो ग्राफर, हलवाई, कैटरिंग वाले, टेंट वाले, वेटर, शहनाई वाले, डीजे साउंड वाले, बर्तनों की धुलाई व सफाई वाले कई लोग काम करते हैं, जिनकी संख्या ही पचास से अधिक हो जाती है। दूसरी बात यदि कोई बड़ा परिवार है तो उसके अपने परिजनों व खास रिश्तेदारों की संख्या भी 50 से अधिक हो जाती है। ऐसे में तो लोग बड़े मैरिज हाल की बुकिंग से बचेंगे ही।
करीब दो महीने के बाद शोरूम खुला है, अभी तक सिर्फ दस फीसदी ही बिक्री है। शोरूम हर रविवार को ही खुलता था, लेकिन खुलते ही ग्राहकों की भारी भीड़ होती थी लेकिन अब ग्राहकों का इंतजार करना पड़ रहा है। क्योंकि लॉकडाउन में लोगों को बाहर आना जाना नहीं रहा, इस कारण जूता चप्पल कारोबार पर अधिक प्रभाव पड़ा है।
-कुलदीप कुमार, संचालक आरडी शूज, सदर बाजार करनाल।
बाजार तो काफी दिनों से खुल रहे हैं लेकिन कारोबार तो सिर्फ 25 प्रतिशत ही है। आलम यह है कि जिनकी दुकानें किराये पर हैं, वह किराया नहीं निकाल पा रहे हैं, दुकाने छोड़कर जाने लगे हैं। आठ जून से बदलावों को लेकर जब हरियाणा सरकार की गाइड लाइन आए तभी कुछ कहा जा सकता है, फिलहाल तो पुरानी स्थिति ही लागू है।
-डा.जेआर कालरा, जिलाध्यक्ष करनाल व्यापार मंडल।
-बारात घरों के बंद होने से सैकड़ों की रोजीरोटी पर संकट आ गया है, अब बारात घर खुलने की बात तो कही जा रही है लेकिन उसमें सहभागिता करने वालों की संख्या तो सिर्फ 50 ही रखी गई है। जबकि इतने तो दूल्हा व दुल्हन के परिवार के लोग ही हो जाते हैं, ऐसे में फोटोग्राफर्स व अन्य लोगों को रोजगार कैसे मिलेगा। लॉकडाउन में फोटोग्राफर्स कारोबार को लाखों की क्षति पहुंची है।
-हरमिंदर सिंह, प्रधान-फोटो ग्राफर्स एसोसिएशन करनाल।
-फोटो स्टूडियों की काफी खराब स्थिति है, लॉकडाउन में बुकिंग मिलनी तो लगभग बंद ही हो गई है। क्योंकि शादियां निरस्त हो गई हैं, जो हुई भी तो अत्यधिक कम लोगों में, तो वहां बुकिंग नहीं हो सकी। आलम यह है कि जो पहले ही शादियां हैं, जिनकी कैसेट व एल्बम बन चुकी हैं, न्हें भी लोग लेने नहीं आ रहे हैं। जिससे लगता है कि वह धन डूब जाएगा।
-अमित कुमार, न्यू कुमार स्टूडियो करनाल।
-बारात घर, बैंकेट हाल खुलने की इजाजत मिलने की बात तो कही जा रही है लेकिन अभी तक बुकिंग के नाम पर कोई फूंछने ही नहीं आ रहा है। जब तक सरकार पचास लोगों की सहभागिता की शर्त वापस नहीं लेती, तब तक बैंकेट हाल, बारात घरों की बुकिंग नहीं हो पाएगी। मार्च से मई तक 25 बुकिंग निरस्त हो गई हैं। हर बैंकेट हाल संचालक को लाखों का घाटा हो रहा है। जबकि सोशल डिस्टेसिंग, सैनिटाइजेशन के साथ अधिक लोगों की अनुमति देनी चाहिए।
-सुनील बिंदल, संचालक गोल्डन मूवमेंट करनाल।