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Dehradun: स्वास्थ्य विभाग का खजाना खाली, कैसे होगी जननी की सुरक्षा, बिना लाभ दिए प्रसुताओं को लौटाया जा रहा घर

वान्या दीक्षित, माई सिटी रिपोर्टर, देहरादून Published by: रेनू सकलानी Updated Sat, 03 Jun 2023 05:13 PM IST
सार

जननी सुरक्षा योजना की 3000 लाभार्थी प्रसुताओं को नहीं योजना का लाभ मिल पाया है। ग्रामीण इलाके की प्रसूता को 1400 रुपये और शहरी इलाके की प्रसूता को 1000 रुपये दिए जाते हैं। नए वित्तीय वर्ष के शुरुआती दो महीने यानी अप्रैल और मई से स्वास्थ्य विभाग में जननी सुरक्षा योजना के लिए बजट नहीं आया है।

Three thousand beneficiary obstetricians are not getting benefit of Janani Suraksha Yojana Dehradun
सांकेतिक तस्वीर - फोटो : social media

विस्तार
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स्वास्थ्य विभाग का खजाना खाली हो गया है। ऐसे में बीते दो महीने से जननी सुरक्षा योजना की करीब तीन हजार लाभार्थी प्रसुताओं को इस योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है। अब उन्हें योजना का लाभ मिल पाएगा भी या नहीं, फिलहाल इसका कुछ पता नहीं है।

दरअसल, जननी सुरक्षा योजना के तहत सरकारी अस्पताल में होने वाले प्रसव के बाद प्रसूताओं को स्वास्थ्य सुरक्षा और पोषाहार के लिए सरकार द्वारा कुछ रकम दी जाती है। इसके लिए प्रसव के दौरान अस्पतालों में फॉर्म भरवाए जाते हैं और यह रकम सीधे प्रसूता के बैंक खाते में भेजे जाते हैं। ग्रामीण इलाके की प्रसूता को 1400 रुपये और शहरी इलाके की प्रसूता को 1000 रुपये दिए जाते हैं। इस योजना का बजट राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) से आता है।

नए वित्तीय वर्ष के शुरुआती दो महीने यानी अप्रैल और मई से स्वास्थ्य विभाग में जननी सुरक्षा योजना के लिए बजट नहीं आया है। ऐसे में प्रसुताओं को बिना योजना का लाभ दिए घर लौटाया जा रहा है। जिले के सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों पर हर महीने करीब एक से डेढ़ हजार प्रसव होते हैं, ऐसे में बीते दो महीने में करीब तीन हजार प्रसूताएं इस योजना से वंचित रह गई हैं।

प्रसूता का बैंक खाता होना जरूरी

सीएमओ डॉ. संजय जैन ने बताया कि योजना का लाभ लेने के लिए प्रसूता का बैंक खाता होना जरूरी है। अगर पति के साथ जॉइंट खाता भी है तो पहला नाम प्रसूता का होना चाहिए। किसी अन्य के खाते में रकम नहीं दी जा सकती। बैंक खाता न होने की वजह से कुछ प्रसूताएं योजना का लाभ नहीं ले पाती हैं। स्वास्थ्य विभाग के पास अभी बजट नहीं आया है, इसलिए पिछले दो महीने से योजना का लाभ नहीं दिया गया है।

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साल - सरकारी अस्पतालों में प्रसव - योजना की लाभार्थी

2022-23 - 17169 - 13457

2021-22 - 14201 - 1012

2020-21 - 11695 - 8478

(नोट : आंकड़े दून अस्पताल, जिला अस्पताल और सीएचसी, पीएचसी के हैं)

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