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Husband wish becoming an obstacle in way of family planning Doon Medical College Research revealed
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Dehradun: परिवार नियोजन की राह में बाधा बन रही पति की मर्जी, 300 महिलाओं पर हुए इस शोध में चौंकाने वाले खुलासे
वान्या दीक्षित, माई सिटी रिपोर्टर, देहरादून
Published by: रेनू सकलानी
Updated Sun, 29 Jan 2023 07:32 PM IST
सार
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परिवार नियोजन की राह में पति की मर्जी बाधा बन रही है। 300 महिलाओं पर हुए शोध में यह खुलासा हुआ है। दून मेडिकल कॉलेज के स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग में 300 महिलाओं पर शोध हुआ, जिसमें पता चला कि-परिवार नियोजन अपनाने में महिलाएं पतियों पर निर्भर रहती हैं।
परिवार नियोजन अपनाने के लिए सरकार लगातार जागरूक कर रही है। कई अभियान भी चलाए जा रहे हैं लेकिन इन सभी अभियानों पर पति की मर्जी भारी पड़ रही है। यही वजह है कि लाख प्रयासों के बावजूद परिवार नियोजन के अभियान सफल नहीं हो रहे हैं।
यह खुलासा राजकीय दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय के स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग में 300 महिलाओं पर हुए एक शोध में हुआ है। यह शोध अंतरराष्ट्रीय पत्रिका में प्रकाशित हुआ है। स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग की यूनिट की एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. रीना पाल ने बताया कि परिवार नियोजन के उपाय अपनाने में महिलाओं का रुझान बहुत कम रहता है।
चिकित्सालय में शिशुओं को जन्म देने वाली कुल 300 महिलाओं पर शोध किया गया है। इसमें यह जानने की कोशिश की गई है कि महिलाएं परिवार नियोजन के साधन अपनाने के लिए क्यों तैयार नहीं होती हैं। इसमें यह निकलकर सामने आया कि महिलाएं खुद ही कोई फैसला नहीं ले पाती हैं और परिवार नियोजन के साधन अपनाने के लिए वह अपने पति की मर्जी पर निर्भर रहती हैं। पहले और दूसरे बच्चे के बाद परिवार नियोजन को लेकर महिलाएं कहती हैं कि पति से पूछकर बताएंगी। जबकि सरकार भी कहती है कि दो बच्चों के बाद परिवार नियोजन अपना लेना चाहिए।
प्रसव के बाद फॉलोअप के लिए भी नहीं आतीं
डॉ. रीना ने बताया कि कुछ महिलाएं पहला, दूसरा और तीसरा बच्चा होने के बाद परिवार नियोजन अपना लेती हैं। वहीं, कुछ महिलाएं चार से अधिक बच्चे होने पर भी परिवार नियोजन के साधन अपनाने के लिए आगे नहीं आती हैं। बच्चे के जन्म के बाद अगर महिला तुरंत परिवार नियोजन अपना ले तो उसे दोबारा अस्पताल न आना पड़े। कुछ महिलाएं यह कहकर बात टाल देती हैं कि वह दोबारा जांच के लिए आएंगी, लेकिन हकीकत यह है कि प्रसव के बाद महिलाएं दोबारा फॉलोअप के लिए नहीं आती हैं।
कॉपर टी बेहतर उपाय
डॉ. रीना ने बताया कि परिवार नियोजन के मामले में हम कॉपर टी को प्राथमिकता देते हैं। एक बार कॉपर टी लगवाने के बाद 10 साल तक गर्भधारण की संभावना नहीं रहती है लेकिन महिलाएं त्रैमासिक अंतरा इंजेक्शन लगवाने की मांग ज्यादा करती हैं।
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