चंडीगढ़। चंडीगढ़ में दिनदहाड़े पिस्तौल के दम पर एक दुकानदार युवक का अपहरण कर भागे किडनैपर्स में से एक को पुलिस ने पीछा कर एक घंटे के भीतर ही धर दबोचा। मुस्तैदी से कार्रवाई करते हुए पुलिस ने अपहृत युवक को छुुड़ा लिया लेकिन अपहरणकर्ता के चार साथी फरार हो गए। पकड़ा गया युवक इंस्पेक्टर का बेटा बताया गया है, जिसकी पहचान सेक्टर-26 पुलिस लाइन निवासी परमिंदर राणा के तौर पर हुई है।
सोमवार शाम को यह वारदात सेक्टर-27 में हुई। सेक्टर-26 थाने के एसएचओ श्रीप्रकाश ने बताया कि शाम करीब 5.50 बजे कंट्रोल रूम को सूचना मिली कि सेक्टर-27 के मकान नंबर-2305 के बाहर से इनोवा सवार कुछ युवकों ने मोबाइल दुकानदार 23 वर्षीय तरुण का अपहरण कर लिया है। सूचना मिलते ही पीसीआर और ट्रैफिक पुलिस ने सब तरफ नाकाबंदी कर दी। इंटरसेप्टर ने भी किडनैपर्स का पीछा किया और उन्हें हरमिलाप नगर में दबोच कर युवक तरुण को छुड़ा लिया।
तरुण के भाइयों का आरोप है कि अपहर्ताओं ने तरुण से करीब 62 हजार रुपये कैश के अलावा एक सोने की चेन भी लूट ली। किडनैपर्स ने पूरे रास्ते पंच से उसके चेहरे और सिर पर भी वार कर घायल कर दिया। तरुण के भाई उपेन्द्र ने बताया कि शाम 4.22 बजे उसकी तरुण से बातचीत हुई थी। करीब सवा छह बजे उसने अपनी टूटी मोबाइल से फोन कर बताया कि उसके साथ मारपीट करने के बाद युवकों ने पंचकूला के पास फेंक दिया है।
पुलिस ने आरोपी के खिलाफ अपहरण, साजिश रचने सहित आर्म्स एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया है। पुलिस के मुताबिक अन्य आरोपियों की भी तलाश की जा रही है, जो चार से ज्यादा भी हो सकते हैं। सूत्रों के मुताबिक फरार आरोपियों में से एक की पहचान सेक्टर-19 निवासी नितेष के तौर पर हुई है। किडनैपिंग में इस्तेमाल की गई इनोवा कार एचआर-60 ए 0200 में सवार युवकों के पास पिस्टल भी था। सेक्टर-27 में जब तरुण का अपहरण कर रहे युवकों को रोकने की कोशिश वहां मौजूद प्रीतपाल और पुनीत ने की तो अपहर्ताओं ने उन्हें पिस्तौल दिखाई, जिसे देखकर दोनों पीछे हट गए।
पुलिस ने अपहर्ताओं के चंगुल से बचाए युवक तरुण को देर शाम मेडिकल जांच के लिए भेजा। जीरकपुर निवासी तरुण सेक्टर-27 में ही अपने भाइयों के साथ मिलकर मोबाइल शॉप चलाते हैं जबकि पिता बजरंग प्रसाद की इंडस्ट्रियल एरिया में इलेक्ट्रोप्लेटिंग यूनिट है।
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बाक्स....
...और इस तरह धर दबोचा किडनैपर
पुलिस के मुताबिक किडनैपर तरुण को इनोवा में अगवा कर सेक्टर-27 से सीधे ट्रिब्यून चौक की तरफ भागे। गाड़ी का नंबर फ्लैश होते ही ट्रिब्यून चौक पर खड़ी इंटरसेप्टर ने इनोवा का पीछा किया। जाम लगा होने पर हल्लोमाजरा के पास अपहर्ताओं ने लाइट प्वाइंट से दड़वा का रुख कर लिया। इसी दौरान चंडीगढ़ पुलिस के एक कांस्टेबल ने ईँट उठाई और इनोवा पर दे मारी, जिससे अपहर्ताओं की कार के शीशे टूट गए। अपहर्ताओं ने विकास नगर फाटक पार किया। इतने में फाटक बंद हो गया और इंटरसेप्टर को रुकना पड़ा। आगे इसकी सूचना पीसीआर को दी गई और तो इनोवा के पीछे पीसीआर लग गई। इनोवा मौलीजागरां और विकास नगर के चक्कर लगाती रही, पुलिस पीछेे लगी रही। बाद में किडनैपर कच्चे रास्ते से होकर रायपुर खुर्द की तरफ भागे। बाद में पुलिस ने हरमिलाप नगर इलाके में एक अपहर्ता को दबोच लिया।
‘लड़की को लेकर विवाद के चलते हुई वारदात’
किडनैप हुए युवक तरुण के भाइयों का कहना है कि तरुण का अपहरण परमिंदर ने एक लड़की को लेकर हुए विवाद का बदला लेने के लिए किया है। उन्होंने बताया कि परमिंदर पहले भी सेक्टर-27 में पाकिस्तान से लौटे एक स्कूली छात्र अजय का अपहरण कर उसके साथ मारपीट कर चुका है। उन्होंने बीच-बचाव की कोशिश की थी। तरुण के भाइयों के अनुसार इसके बाद से ही वह धमकी दे रहा था और उसने 14 मई को तरुण के साथ कुछ बुरा होने की भी चेतावनी दी थी। सेक्टर-26 के एसएचओ ने कहा कि आरोपी के खिलाफ पहले मामले दर्ज हैं या नहीं, इसकी जांच की जा रही है।
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आरोपी के भाई पर भी दर्ज था मामला
सूत्रों के मुताबिक इस मामले में पकड़े गए इंस्पेक्टर तरसेम राणा के बेटे परमिंदर का बड़ा भाई हरिंदर सिंह भी 2009 में पुलिस की गिरफ्त में रह चुका है। हरिंदर सिंह पर आरोप था कि उसने सेक्टर 33 के उद्योगपति को कोठी में बंधक बनाकर हाईवे लुटेरों के साथ मिलकर लूटा था। चंडीगढ़ में डकैती की कोशिश करने का मामला भी दर्ज हुआ था। सबूतों के अभाव में हरिंदर सिंह को अदालत ने बरी कर दिया था।
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टायर पंचर होने पर रुके तो पुलिस ने घेरा
पंचकूला। चंडीगढ़ सेक्टर-27 मार्केट से युवक तरुण को किडनेप कर भागे अपहर्ता गाड़ी का टायर पंक्चर होने पर धरे गए। आरोपी जीरकपुर के रास्ते हाईवे से फरार होने की कोशिश में थे, लेकिन सेक्टर-19 रेलवे फाटक के नजदीक इनोवा कार का टायर पंचर हो गया। पंचर बनवाने के लिए जैसे ही आरोपी हरमिलापनगर की एक दुकान पर रुके, तभी पहले से ही ट्रैप लगाए ट्राइसिटी की पुलिस ने आरोपियों को घेर लिया। सूचना मिलते ही चंडीगढ़, पंचकूला और जीरकपुर की भारी संख्या में पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से व्हाइट कलर की इनोवा और एचआर 03 के 2020 नंबर की आल्टो कार बरामद की है।
पुलिस के अनुसार आरोपी इनोवा कार से चंडीगढ़ रेलवे स्टेशन लाइट प्वाइंट से होते हुए मनीमाजरा की ओर से पंचकूला के सेक्टर-17 में दाखिल हुए। वे सेक्टर-19 से बलटाना के रास्ते होकर जीरकपुर जाने की कोशिश कर रहे थे। इसी दौरान रास्ते में ही टायर पंचर हो गया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार इनोवा के साथ ही आल्टो कार में भी आरोपी सवार थे, एक पकड़ा गया, जबकि बाकी भाग निकले।
काल सेंटर में आते थे आरोपी
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि भागे आरोपी युवकों का हरमिलाप नगर में आना-जाना था। उनके मुताबिक यहां पर एक काल सेंटर हुआ करता था, जिसमें अक्सर उन युवकों का आना-जाना रहता था।
चंडीगढ़। चंडीगढ़ में दिनदहाड़े पिस्तौल के दम पर एक दुकानदार युवक का अपहरण कर भागे किडनैपर्स में से एक को पुलिस ने पीछा कर एक घंटे के भीतर ही धर दबोचा। मुस्तैदी से कार्रवाई करते हुए पुलिस ने अपहृत युवक को छुुड़ा लिया लेकिन अपहरणकर्ता के चार साथी फरार हो गए। पकड़ा गया युवक इंस्पेक्टर का बेटा बताया गया है, जिसकी पहचान सेक्टर-26 पुलिस लाइन निवासी परमिंदर राणा के तौर पर हुई है।
सोमवार शाम को यह वारदात सेक्टर-27 में हुई। सेक्टर-26 थाने के एसएचओ श्रीप्रकाश ने बताया कि शाम करीब 5.50 बजे कंट्रोल रूम को सूचना मिली कि सेक्टर-27 के मकान नंबर-2305 के बाहर से इनोवा सवार कुछ युवकों ने मोबाइल दुकानदार 23 वर्षीय तरुण का अपहरण कर लिया है। सूचना मिलते ही पीसीआर और ट्रैफिक पुलिस ने सब तरफ नाकाबंदी कर दी। इंटरसेप्टर ने भी किडनैपर्स का पीछा किया और उन्हें हरमिलाप नगर में दबोच कर युवक तरुण को छुड़ा लिया।
तरुण के भाइयों का आरोप है कि अपहर्ताओं ने तरुण से करीब 62 हजार रुपये कैश के अलावा एक सोने की चेन भी लूट ली। किडनैपर्स ने पूरे रास्ते पंच से उसके चेहरे और सिर पर भी वार कर घायल कर दिया। तरुण के भाई उपेन्द्र ने बताया कि शाम 4.22 बजे उसकी तरुण से बातचीत हुई थी। करीब सवा छह बजे उसने अपनी टूटी मोबाइल से फोन कर बताया कि उसके साथ मारपीट करने के बाद युवकों ने पंचकूला के पास फेंक दिया है।
पुलिस ने आरोपी के खिलाफ अपहरण, साजिश रचने सहित आर्म्स एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया है। पुलिस के मुताबिक अन्य आरोपियों की भी तलाश की जा रही है, जो चार से ज्यादा भी हो सकते हैं। सूत्रों के मुताबिक फरार आरोपियों में से एक की पहचान सेक्टर-19 निवासी नितेष के तौर पर हुई है। किडनैपिंग में इस्तेमाल की गई इनोवा कार एचआर-60 ए 0200 में सवार युवकों के पास पिस्टल भी था। सेक्टर-27 में जब तरुण का अपहरण कर रहे युवकों को रोकने की कोशिश वहां मौजूद प्रीतपाल और पुनीत ने की तो अपहर्ताओं ने उन्हें पिस्तौल दिखाई, जिसे देखकर दोनों पीछे हट गए।
पुलिस ने अपहर्ताओं के चंगुल से बचाए युवक तरुण को देर शाम मेडिकल जांच के लिए भेजा। जीरकपुर निवासी तरुण सेक्टर-27 में ही अपने भाइयों के साथ मिलकर मोबाइल शॉप चलाते हैं जबकि पिता बजरंग प्रसाद की इंडस्ट्रियल एरिया में इलेक्ट्रोप्लेटिंग यूनिट है।
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...और इस तरह धर दबोचा किडनैपर
पुलिस के मुताबिक किडनैपर तरुण को इनोवा में अगवा कर सेक्टर-27 से सीधे ट्रिब्यून चौक की तरफ भागे। गाड़ी का नंबर फ्लैश होते ही ट्रिब्यून चौक पर खड़ी इंटरसेप्टर ने इनोवा का पीछा किया। जाम लगा होने पर हल्लोमाजरा के पास अपहर्ताओं ने लाइट प्वाइंट से दड़वा का रुख कर लिया। इसी दौरान चंडीगढ़ पुलिस के एक कांस्टेबल ने ईँट उठाई और इनोवा पर दे मारी, जिससे अपहर्ताओं की कार के शीशे टूट गए। अपहर्ताओं ने विकास नगर फाटक पार किया। इतने में फाटक बंद हो गया और इंटरसेप्टर को रुकना पड़ा। आगे इसकी सूचना पीसीआर को दी गई और तो इनोवा के पीछे पीसीआर लग गई। इनोवा मौलीजागरां और विकास नगर के चक्कर लगाती रही, पुलिस पीछेे लगी रही। बाद में किडनैपर कच्चे रास्ते से होकर रायपुर खुर्द की तरफ भागे। बाद में पुलिस ने हरमिलाप नगर इलाके में एक अपहर्ता को दबोच लिया।
‘लड़की को लेकर विवाद के चलते हुई वारदात’
किडनैप हुए युवक तरुण के भाइयों का कहना है कि तरुण का अपहरण परमिंदर ने एक लड़की को लेकर हुए विवाद का बदला लेने के लिए किया है। उन्होंने बताया कि परमिंदर पहले भी सेक्टर-27 में पाकिस्तान से लौटे एक स्कूली छात्र अजय का अपहरण कर उसके साथ मारपीट कर चुका है। उन्होंने बीच-बचाव की कोशिश की थी। तरुण के भाइयों के अनुसार इसके बाद से ही वह धमकी दे रहा था और उसने 14 मई को तरुण के साथ कुछ बुरा होने की भी चेतावनी दी थी। सेक्टर-26 के एसएचओ ने कहा कि आरोपी के खिलाफ पहले मामले दर्ज हैं या नहीं, इसकी जांच की जा रही है।
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आरोपी के भाई पर भी दर्ज था मामला
सूत्रों के मुताबिक इस मामले में पकड़े गए इंस्पेक्टर तरसेम राणा के बेटे परमिंदर का बड़ा भाई हरिंदर सिंह भी 2009 में पुलिस की गिरफ्त में रह चुका है। हरिंदर सिंह पर आरोप था कि उसने सेक्टर 33 के उद्योगपति को कोठी में बंधक बनाकर हाईवे लुटेरों के साथ मिलकर लूटा था। चंडीगढ़ में डकैती की कोशिश करने का मामला भी दर्ज हुआ था। सबूतों के अभाव में हरिंदर सिंह को अदालत ने बरी कर दिया था।
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टायर पंचर होने पर रुके तो पुलिस ने घेरा
पंचकूला। चंडीगढ़ सेक्टर-27 मार्केट से युवक तरुण को किडनेप कर भागे अपहर्ता गाड़ी का टायर पंक्चर होने पर धरे गए। आरोपी जीरकपुर के रास्ते हाईवे से फरार होने की कोशिश में थे, लेकिन सेक्टर-19 रेलवे फाटक के नजदीक इनोवा कार का टायर पंचर हो गया। पंचर बनवाने के लिए जैसे ही आरोपी हरमिलापनगर की एक दुकान पर रुके, तभी पहले से ही ट्रैप लगाए ट्राइसिटी की पुलिस ने आरोपियों को घेर लिया। सूचना मिलते ही चंडीगढ़, पंचकूला और जीरकपुर की भारी संख्या में पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से व्हाइट कलर की इनोवा और एचआर 03 के 2020 नंबर की आल्टो कार बरामद की है।
पुलिस के अनुसार आरोपी इनोवा कार से चंडीगढ़ रेलवे स्टेशन लाइट प्वाइंट से होते हुए मनीमाजरा की ओर से पंचकूला के सेक्टर-17 में दाखिल हुए। वे सेक्टर-19 से बलटाना के रास्ते होकर जीरकपुर जाने की कोशिश कर रहे थे। इसी दौरान रास्ते में ही टायर पंचर हो गया। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार इनोवा के साथ ही आल्टो कार में भी आरोपी सवार थे, एक पकड़ा गया, जबकि बाकी भाग निकले।
काल सेंटर में आते थे आरोपी
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि भागे आरोपी युवकों का हरमिलाप नगर में आना-जाना था। उनके मुताबिक यहां पर एक काल सेंटर हुआ करता था, जिसमें अक्सर उन युवकों का आना-जाना रहता था।